प्रसार भारती ने हाल ही में ओटीटी प्लेटफॉर्म 'Waves' लॉन्च किया है, जिसने केबल और डीटीएच ऑपरेटर्स के बीच गंभीर चिंता पैदा कर दी है।
by
समाचार4मीडिया ब्यूरो
प्रसार भारती ने हाल ही में ओटीटी प्लेटफॉर्म 'वेब्स' (Waves) लॉन्च किया है, जिसने केबल और डीटीएच ऑपरेटर्स के बीच गंभीर चिंता पैदा कर दी है।
यह प्लेटफॉर्म वर्तमान में 60 से अधिक लीनियर टीवी चैनल्स की मेजबानी करता है, जिनमें प्रमुख न्यूज नेटवर्क भी शामिल हैं और इसे बिना किसी सब्सक्रिप्शन के मुफ्त में उपलब्ध कराया गया है।
हालांकि इसमें अभी तक शीर्ष चार ब्रॉडकास्टर्स के एंटरटेनमेंट चैनल शामिल नहीं हैं, फिर भी इसने केबल इंडस्ट्री में अशांति पैदा कर दी है।
'वेब्स' (Waves) पर लीनियर टीवी चैनल्स की उपलब्धता ने मौजूदा व्यवस्था को हिला दिया है। इस कदम से पारंपरिक टीवी ऑपरेटर्स ने आपत्ति जताई है, क्योंकि उन्हें लगता है कि यह उनकी व्यावसायिक रणनीति को कमजोर करेगा और उनके बाजार हिस्से को और अधिक घटाएगा।
एक्सचेंज4मीडिया ने एक्सपर्ट्स की उन चिंताओं की रिपोर्ट दी है, जो Waves द्वारा लीनियर टीवी चैनल्स मुफ्त में उपलब्ध कराने को लेकर हैं।
"सब्सक्राइबर्स का बदलता रुझान
केबल और डीटीएच ऑपरेटर्स की चिंताओं की जड़ में पहले से ही प्रसार भारती के 'डीडी फ्री डिश' का दबाव है, जो मुफ्त सैटेलाइट टीवी सेवाएं प्रदान करता है और तेजी से लोकप्रिय हो रहा है।
नाम न बताने की शर्त पर एक ब्रॉडकास्ट एक्सपर्ट ने कहा, 'अधिकांश दर्शक अब ओटीटी प्लेटफॉर्म्स की ओर रुख कर रहे हैं, जो ऑन-डिमांड कंटेंट और अधिक लचीलापन चाहते हैं और ऐसे में पारंपरिक टीवी ऑपरेटर्स ने सब्सक्रिप्शंस में गिरावट देखी है। Waves पर टीवी चैनल्स की उपलब्धता इन चुनौतियों को और बढ़ा सकती है, क्योंकि यह उन सब्सक्राइबर्स को भी अपनी ओर खींच सकती है, जो पहले से ही डिजिटल और स्ट्रीमिंग विकल्पों की ओर बढ़ रहे हैं।'
प्रसार भारती का ओटीटी प्लेटफॉर्म Waves अब लीनियर और ऑन-डिमांड कंटेंट का मिश्रण पेश कर रहा है, ऐसे में ऑपरेटर्स को चिंता है कि इससे ओटीटी की ओर बदलाव और तेज़ हो जाएगा, जिससे अंततः उनके सब्सक्राइबर बेस और मुनाफ़े में कमी आएगी।
केबल टीवी ऑपरेटर्स का कहना है कि ब्रॉडकास्टर्स के टीवी चैनल्स का उपयोग करके प्रसार भारती सूचना-प्रसारण मंत्रालय द्वारा निर्धारित डाउनलिंकिंग दिशा-निर्देशों का उल्लंघन कर रहा है। इंडस्ट्री के एक एक्सपर्ट ने कहा कि यह कदम मौजूदा नियमों के विपरीत है, जिसमें कहा गया है कि सैटेलाइट टीवी चैनल रिसेप्शन डिकोडर केवल केबल ऑपरेटर्स को ही दिए जाने चाहिए।
एक्सपर्ट ने कहा, "ओटीटी प्लेटफॉर्म पर लीनियर चैनल पेश करना पूरी तरह से अन्यायपूर्ण है। यह न केवल अपलिंकिंग और डाउनलिंकिंग दिशा-निर्देशों का उल्लंघन करता है, बल्कि केबल ऑपरेटर्स के सामने आने वाली चुनौतियों को भी बढ़ाता है, जो पहले से ही हर साल ग्राहकों की संख्या में भारी कमी का सामना कर रहे हैं।"
नियमों के उल्लंघन को लेकर चिंता
इससे पहले, ऑल इंडिया डिजिटल केबल फेडरेशन ने सूचना-प्रसारण मंत्रालय को एक पत्र में कहा है कि प्रसार भारती ने अपने ओटीटी प्लेटफॉर्म पर लीनियर टीवी चैनल्स को शामिल करने के लिए आवेदन आमंत्रित करते समय, 2022 की अपलिंकिंग और डाउनलिंकिंग गाइडलाइंस के क्लॉज 11(3)(f) का उल्लंघन किया है।
क्लॉज 11(3)(f) के अनुसार टीवी चैनल सिग्नल रिसेप्शन डिकोडर्स केवल निम्नलिखित संस्थाओं को ही दिए जा सकते हैं:
- एमएसओ/केबल ऑपरेटर्स: जो केबल टेलीविजन नेटवर्क (रेगुलेशन) एक्ट 1995 के तहत पंजीकृत हैं।
- डीटीएच ऑपरेटर्स: जो भारत सरकार द्वारा जारी डीटीएच गाइडलाइंस के तहत पंजीकृत हैं।
- आईपीटीवी सेवा प्रदाता: जो मौजूदा टेलीकॉम लाइसेंस के तहत अधिकृत हैं या जिन्हें दूरसंचार विभाग द्वारा स्वीकृति मिली हुई है।
- एचआईटीएस ऑपरेटर्स: जिन्हें एचआईटीएस ऑपरेटरों के लिए मंत्रालय द्वारा जारी नीति दिशा-निर्देशों के तहत स्वीकृति दी गई है।
सितंबर में लिखे गए एक पत्र में, केबल इंडस्ट्री ने कहा था कि डिस्ट्रीब्यूशन इंडस्ट्री ने पिछले 6 वर्षों में अपने सब्सक्राइबर संख्या में भारी उथल-पुथल देखी है, जिसमें 2018 में, केबल टीवी और डीटीएच इंडस्ट्री का संयुक्त सब्सक्राइबर बेस लगभग 180 मिलियन था, जो 2024 में काफी कम होकर 120 मिलियन रह गया है, जो कुल सब्सक्राइबर बेस का 33% कम है।
केबल टीवी ऑपरेटर, जैसे कि सिटी, हैथवे, डेन और जीटीपीएल, ने सूचना-प्रसारण मंत्रालय से आग्रह किया है कि वह प्रसार भारती को अपने ओटीटी प्लेटफॉर्म पर निजी टीवी चैनलों को शामिल करने से रोकें। प्रसार भारती के ओटीटी प्लेटफॉर्म Waves पर फिलहाल लगभग 71 लीनियर चैनल उपलब्ध हैं।
इस मुद्दे पर एक वरिष्ठ ब्रॉडकास्ट एक्सपर्स ने कहा, "प्रसार भारती 'प्रसार भारती एक्ट' के तहत कार्य करता है, इसलिए प्रसारक (ब्रॉडकास्टर्स) को अपने सैटेलाइट टीवी चैनल प्रसार भारती के ओटीटी प्लेटफॉर्म पर प्रदान करने की अनुमति है।"
What’s on offer?
Prasar Bharati's much-anticipated OTT platform, Waves, was officially launched on Wednesday, marking the broadcaster's foray into the competitive streaming market.
Waves was launched at the 55th International Film Festival of India (IFFI) in Goa by Chief Minister Pramod Sawant, in the presence of Sanjay Jaju, Secretary, I&B Ministry.
The app has stories embracing Indian culture with an international outlook, in 12+ Languages - Hindi, English, Bengali, Marathi, Kannada, Malayalam, Telugu, Tamil, Gujarati, Punjabi, Assamese. It will be spread across 10+ Genres of Infotainment. It will provide Video on demand, free-to-play gaming, Radio streaming, Live TV streaming, 71 live Channels, several App in App integrations for video and gaming content, and online shopping through Open Network for Digital Commerce (ONDC) supported e-commerce platform.
The platform features a lineup of live channels, including entertainment networks like B4U, ABZY, SAB Group, and 9X Media, alongside major news channels such as India Today, News Nation, Republic, ABP News, News24, and NDTV India. It also offers all Doordarshan and Akashvani channels, according to sources.
However, some prominent broadcasters' channels are currently absent from the service.
क्या है खास?
प्रसार भारती के बहुप्रतीक्षित ओटीटी प्लेटफॉर्म Waves का आधिकारिक लॉन्च बुधवार को हुआ, जिससे प्रसार भारती ने प्रतिस्पर्धी स्ट्रीमिंग बाजार में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई। Waves का उद्घाटन गोवा में आयोजित 55वें अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (IFFI) में गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने सूचना और प्रसारण मंत्रालय के सचिव संजय जाजू की उपस्थिति में किया।
इस ऐप में भारतीय संस्कृति को अंतरराष्ट्रीय दृष्टिकोण के साथ प्रस्तुत करने वाली कहानियां शामिल हैं। यह 12+ भाषाओं (हिंदी, अंग्रेजी, बांग्ला, मराठी, कन्नड़, मलयालम, तेलुगु, तमिल, गुजराती, पंजाबी, असमिया) में उपलब्ध है। यह 10+ शैलियों (Genres) में इन्फोटेनमेंट कंटेंट प्रदान करता है।
Waves पर मिलने वाली सेवाएं:
प्लेटफॉर्म में लाइव चैनल्स की सूची भी शामिल है, जिनमें एंटरटेनमेंट चैनल जैसे B4U, ABZY, SAB ग्रुप और 9X मीडिया हैं। प्रमुख न्यूज चैनल जैसे इंडिया टुडे, न्यूज नेशन, रिपब्लिक, एबीपी न्यूज, न्यूज24 और एनडीटीवी इंडिया भी उपलब्ध हैं। इसके अलावा, इसमें सभी दूरदर्शन और आकाशवाणी चैनल शामिल हैं।
हालांकि, कुछ प्रमुख ब्रॉडकास्टर्स के चैनल वर्तमान में इस सेवा में शामिल नहीं हैं।
'लिमिटेड ऑफर'
अपने लॉन्च को लेकर उत्साह के बावजूद इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स सतर्क हैं और शहरी दर्शकों के बीच इसके तात्कालिक प्रभाव को सीमित मान रहे हैं।
एक सीनियर ओटीटी एक्सपर्ट ने कहा, "यह प्लेटफॉर्म, न्यूज से जुड़े कुछ वर्गों को छोड़कर, सीमित पहुंच रखने वाला है।"
इस प्लेटफॉर्म का उद्देश्य पुराने जमाने की यादों को फिर से ताजा करना है, साथ ही आधुनिक डिजिटल रुझानों को अपनाते हुए क्लासिक और समकालीन कार्यक्रमों का समृद्ध मिश्रण प्रदान करना है।इसकी लाइब्रेरी में रामायण, महाभारत, शक्तिमान और हम लोग जैसे सदाबहार शोज शामिल हैं, जो उन दर्शकों को आकर्षित करते हैं जो भारत के सांस्कृतिक और भावनात्मक अतीत से जुड़ाव चाहते हैं। इसके अलावा, यह न्यू, डॉक्यूमेंट्री और रीजनल कंटेंट भी प्रदान करता है, जो समावेशिता और विविधता के प्रति इसकी प्रतिबद्धता को मजबूत करता है।
लॉन्च के बाद मंत्रालय ने कहा था, "दूरदर्शन का ओटीटी प्लेटफॉर्म परंपरागत टीवी और आधुनिक स्ट्रीमिंग के बीच की खाई को पाटता है और अपनी दशकों पुरानी विरासत व राष्ट्रीय विश्वास का उपयोग करते हुए तकनीक-प्रेमी युवाओं और बुजुर्ग पीढ़ी दोनों तक पहुंच बनाता है।"
पहले, सूचना-प्रसारण मंत्रालय (MIB) ने पुष्टि की थी कि प्लेटफॉर्म का एक छोटा हिस्सा सब्सक्रिप्शन-आधारित होगा, जबकि बाकी कंटेंट देखने के लिए मुफ्त होगा।
अगस्त में, प्रसार भारती ने टीवी चैनल्स को अपने नए ओटीटी प्लेटफॉर्म से जुड़ने का निमंत्रण दिया। यह कदम उसकी डिजिटल उपस्थिति को बढ़ाने और एक ऐसा राजस्व-साझाकरण मॉडल पेश करने का प्रतीक था, जो बाजार में विशिष्ट है।
इस मॉडल के तहत ब्रॉडकास्टर्स को विज्ञापन राजस्व का 65% मिलेगा, जबकि प्रसार भारती 35% रखेगा।
सितंबर में, एक्सचेंज4मीडिया को सूत्रों से पता चला कि प्रमुख चार टीवी नेटवर्क ने प्रसार भारती के आगामी ओटीटी प्लेटफॉर्म पर अपने लिनियर चैनल को स्ट्रीम नहीं करने का निर्णय लिया है।
हालांकि सरकार ने आकर्षक राजस्व-साझाकरण मॉडल की पेशकश की थी, इन नेटवर्क्स ने शायद इसलिए भाग नहीं लिया क्योंकि उनकी पहले से ही अपने ओटीटी प्लेटफॉर्म्स पर मजबूत उपस्थिति है।
इन शीर्ष नेटवर्क्स के आवेदन न करने के बावजूद, मामले से परिचित सूत्रों ने एक्सचेंज4मीडिया को बताया कि प्रसार भारती को विभिन्न शैलियों के 106 चैनल्स से आवेदन प्राप्त हुए। इनमें से 44 चैनल्स का चयन किया गया और 40 चैनल्स प्लेटफॉर्म से जुड़ने के लिए सहमत हुए।
अडानी ग्रुप के पास मीडिया पर लगभग 500 करोड़ रुपये से ज्यादा का बजट है और यह बजट जल्द ही रिव्यू यानी समीक्षा के दौर से गुजर सकता है।
by
Samachar4media Bureau
अडानी ग्रुप के पास मीडिया पर लगभग 500 करोड़ रुपये से ज्यादा का बजट है और इंडस्ट्री के सूत्रों ने एक्सचेंज4मीडिया को बताया कि यह बजट जल्द ही रिव्यू यानी समीक्षा के दौर से गुजर सकता है। इस नए मीडिया पिच में शीर्ष मीडिया एजेंसी नेटवर्क्स की काफी दिलचस्पी होने की संभावना है। ऐसा इसलिए है क्योंकि अडानी ग्रुप का बिजनेस बड़ा है और उसके कई उपभोक्ता-फेसिंग बिजनेस तेजी से बढ़ रहे हैं।
हालांकि अडानी ग्रुप ने अभी तक कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की है, लेकिन कई स्रोतों के मुताबिक कंपनी अपने मीडिया प्लान को नए सिरे से तैयार कर रही है ताकि अगले विकास चरण में यह बेहतर काम करे।
यह बदलाव ग्रुप के पुराने मीडिया सेटअप से काफी अलग है। वैसे अभी तक MudraMax ही अडानी सीमेंट और अडानी कॉर्पोरेट के मीडिया अकाउंट्स संभाल रही है।
जैसे ही यह औपचारिक रूप से घोषित होगा, यह साल की सबसे बड़ी मीडिया पिचों में से एक होगी, क्योंकि अडानी ग्रुप का व्यवसाय FMCG, पैकेज्ड फूड और अन्य उपभोक्ता सेवाओं में तेजी से बढ़ रहा है।
जैसे ही एक्सचेंज4मीडिया को इस मामले की कोई और जानकारी मिलेगी, अपडेट खबर के जरिए सबसे पहले आप तक पहुंचाई जाएगी।
जी एंटरटेनमेंट ने शुक्रवार, 28 नवंबर को बताया कि कंपनी के शेयरधारकों ने आर. गोपालन को कंपनी का नॉन-एग्जिक्यूटिव, नॉन-इंडिपेंडेंट डायरेक्टर बनाने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है।
by
Vikas Saxena
जी एंटरटेनमेंट एंटरप्राइजेज लिमिटेड ने शुक्रवार, 28 नवंबर 2025 को बताया कि कंपनी के शेयरधारकों ने आर. गोपालन को कंपनी का नॉन-एग्जिक्यूटिव, नॉन-इंडिपेंडेंट डायरेक्टर बनाने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। यह मंजूरी पोस्टल बैलट और रिमोट ई-वोटिंग प्रक्रिया के माध्यम से दी गई।
कंपनी ने बताया कि Ms. Vinita Nair, Joint Managing Partner, M/s. Vinod Kothari & Company, Practising Company Secretaries को इस पोस्टल बैलट की जांच (Scrutinizer) के लिए नियुक्त किया गया था। उनकी रिपोर्ट के अनुसार कुल 23,66,57,454 वोट यानी 53.1667% शेयरधारकों ने प्रस्ताव के पक्ष में मतदान किया, जबकि 20,84,66,187 वोट यानी 46.8333% वोटों ने प्रस्ताव के खिलाफ मतदान किया। कोई भी वोट अवैध नहीं पाया गया।
इस तरह, जरूरी बहुमत मिलने के कारण आर. गोपालन की नियुक्ति औपचारिक रूप से पास हो गई है। लिहाजा इस नियुक्ति के साथ जी एंटरटेनमेंट के बोर्ड में अब आर. गोपालन का योगदान नॉन-एग्जिक्यूटिव, नॉन-इंडिपेंडेंट डायरेक्टर के रूप में जुड़ जाएगा।
आर. गोपालन., जो अभी तक फिलहाल कंपनी के इंडिपेंडेंट डायरेक्टर के पद पर कार्यरत थे, उनका दूसरा कार्यकाल 24 नवंबर 2025 को पूरा हो गया था, जिसके चलते ही बोर्ड ने उन्हें नॉन-एग्जिक्यूटिव, नॉन-इंडिपेंडेंट डायरेक्टर के रूप में नियुक्त करने का प्रस्ताव रखा था।
शेयरधारकों ने अपनी मंजूरी एनएसडीएल (NSDL) के जरिए ई-वोटिंग के माध्यम से दी। यह ई-वोटिंग प्रक्रिया 30 अक्टूबर 2025 सुबह 9 बजे से शुरू होकर 28 नवंबर 2025 शाम 5 बजे तक चली।
यह नियुक्ति मिनिस्ट्री ऑफ इन्फॉर्मेशन एंड ब्रॉडकास्टिंग की मंजूरी के बाद की जाएगी। फिलहाल उन्हें बोर्ड की सिफारिश पर नामांकन और पारिश्रमिक समिति (Nomination & Remuneration Committee) ने 25 नवंबर 2025 से प्रभावी रूप से अतिरिक्त निदेशक (Additional Director) के रूप में नियुक्त किया हुआ है।
केरल TRP मामले में BARC इंडिया ने एक स्वतंत्र एजेंसी को इस मामले की जांच और फॉरेंसिक ऑडिट करने के लिए नियुक्त किया है।
by
Samachar4media Bureau
केरल TRP मामले में BARC इंडिया ने एक स्वतंत्र एजेंसी को इस मामले की जांच और फॉरेंसिक ऑडिट करने के लिए नियुक्त किया है। मामला मलयालम न्यूज चैनल Twenty-Four और BARC के एक कर्मचारी के कथित संबंध से जुड़ा है। BARC ने बयान में कहा कि वे इस मामले को जल्द, पारदर्शी और पूरी सावधानी के साथ सुलझाने के लिए तुरंत कार्रवाई कर रहे हैं।
BARC ने कहा कि जांच के दौरान सभी पक्षों और मीडिया से अपील है कि वे बिना पुष्टि किए किसी भी तरह के दावे या अटकलें न फैलाएं। BARC अपने हितधारकों के प्रति ईमानदारी और जवाबदेही बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध है।
जानकारी के मुताबिक, कथित घोटाला केरल के एक चैनल मालिक और मुंबई में स्थित BARC कर्मचारी से जुड़ा है। राज्य पुलिस इसे गंभीर मामला मानकर जांच कर रही है। आरोप है कि चैनल की रेटिंग बढ़ाने और विज्ञापन राजस्व बढ़ाने के लिए बड़े पैमाने पर भुगतान किए गए, जिन्हें कथित तौर पर क्रिप्टो वॉलेट्स के माध्यम से भेजा गया।
जांच में वॉट्सऐप चैट्स और कॉल रिकॉर्ड्स भी सामने आए हैं, जिनमें साप्ताहिक व्युअरशिप डेटा साझा करने, भुगतान की पुष्टि और यहां तक कि इमोजी के माध्यम से लेनदेन की पुष्टि दिखती है।
टाइम्स ग्रुप का प्रीमियम ब्रॉडकास्ट नेटवर्क Times Network अब अपने स्पोर्ट्स चैनल 'Pickleball Now' को दुनिया भर में विस्तार दे रहा है।
by
Samachar4media Bureau
टाइम्स ग्रुप का प्रीमियम ब्रॉडकास्ट नेटवर्क Times Network अब अपने स्पोर्ट्स चैनल 'Pickleball Now' को दुनिया भर में विस्तार दे रहा है। यह दुनिया का पहला ऐसा टीवी चैनल है जो सिर्फ पिकलबॉल खेल के लिए बनाया गया है और CTV व डिजिटल प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध है। चैनल का मकसद इस तेजी से लोकप्रिय हो रहे खेल को ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचाना है। इस पर लाइव इंटरनेशनल टूर्नामेंट, हाइलाइट्स, इंटरव्यू, टैक्टिकल ब्रेकडाउन, बिहाइंड-द-सीन्स स्टोरीज, छोटे वीडियो और ग्लोबल पिकलबॉल खबरें दिखाई जाएंगी।
यह चैनल पहले ही भारत, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और कई देशों के बड़े टूर्नामेंट दुनिया भर के दर्शकों तक पहुंचा चुका है। इसमें NPL Australia - Sydney, NPL Australia - Brisbane, PWR DUPR India Masters और Pickleball World Cup जैसे इवेंट शामिल हैं। लगातार हाई-क्वॉलिटी कंटेंट की वजह से चैनल ने दुनियाभर में एक मजबूत और एक्टिव ऑडियंस बना ली है।
पिकलबॉल को बढ़ावा देने की दिशा में चैनल एक और बड़ा कदम उठाने जा रहा है। Pickleball Now अब भारत की पहली आधिकारिक राष्ट्रीय पिकलबॉल लीग Indian Pickleball League (IPBL) का प्रसारण करेगा। इस लीग को इंडियन पिकलबॉल एसोसिएशन ने मंजूरी दी है और इसे युवा मामले एवं खेल मंत्रालय (MYAS) की मान्यता प्राप्त है। लीग का लाइव प्रसारण 1 दिसंबर 2025 से शुरू होगा।
अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चैनल अपने प्रोग्रामिंग लाइनअप को और बड़ा करने की तैयारी में है। इसमें Global LIVE Tournament Coverage, PWR World Tour 2026 (जापान, यूके, इटली, अमेरिका, ब्राजील सहित कई देशों में) और शुरुआती से लेकर एडवांस खिलाड़ियों के लिए ट्रेनिंग व स्किल-बिल्डिंग सेगमेंट शामिल होंगे। साथ ही रूल्स, रणनीति, उपकरण समीक्षा, कम्युनिटी स्टोरीज, और युवा खिलाड़ियों के लिए खास कंटेंट भी दिखाए जाएंगे।
भारत में दर्शक Times Play ऐप पर लाइव टूर्नामेंट देख सकेंगे। इसके अलावा JioTV, JioTV+, Airtel Xstream, DailyHunt और OTT Play पर भी चैनल उपलब्ध होगा। अंतरराष्ट्रीय बाजारों में इसकी शुरुआत BOTIM, Distro, YuppTV और Rumble पर होगी। बाद में इसे अमेरिका, MENA, ऑस्ट्रेलिया-न्यूजीलैंड, ब्रिटेन और बाकी देशों में भी बढ़ाया जाएगा।
टाइम्स नेटवर्क ने कहा कि पिकलबॉल दुनिया भर में तेजी से बढ़ रहा खेल है और Pickleball Now इसे वैश्विक दर्शकों तक पहुंचाने में अहम भूमिका निभाएगा। दुनिया का पहला पिकलबॉल-फोकस्ड स्पोर्ट्स चैनल होने के कारण कंपनी इसे इंटरनेशनल लेवल पर मजबूत करने और अलग-अलग देशों की लीग्स के साथ साझेदारी का विस्तार करने की योजना बना रही है।
Pickleball Now की आधिकारिक वेबसाइट pickleballnow.in भी जल्द ही एक डिजिटल हब के रूप में विकसित की जाएगी। इसमें मैच शेड्यूल, ग्लोबल कवरेज, टूर्नामेंट सर्च, प्लेयर डाटा, एडिटोरियल कंटेंट, ट्रेनिंग टूल्स, कम्युनिटी स्टोरीज और पिकलबॉल के उपकरण व मर्चेंडाइज की शॉपिंग सुविधा भी उपलब्ध होगी।
पिकलबॉल की लगातार बढ़ती लोकप्रियता को देखते हुए Pickleball Now खुद को इस खेल का सबसे बड़ा ग्लोबल डेस्टिनेशन बनाने की दिशा में आगे बढ़ रहा है। चैनल का लक्ष्य फैंस को खेल के और करीब लाना, नए खिलाड़ियों को मंच देना और दुनिया भर की पिकलबॉल कम्युनिटी को एक प्लेटफॉर्म पर जोड़ना है।
प्रसार भारती ने 'डीडी फ्री डिश' (DD Free Dish) के नए टेस्ट स्ट्रीम TS#7 और TS#8 पर खाली पड़े MPEG-4 स्लॉट के लिए आवेदन प्रक्रिया शुरू कर दी है।
by
Samachar4media Bureau
प्रसार भारती ने 'डीडी फ्री डिश' (DD Free Dish) के नए टेस्ट स्ट्रीम TS#7 और TS#8 पर खाली पड़े MPEG-4 स्लॉट के लिए आवेदन प्रक्रिया शुरू कर दी है। ये स्लॉट 31 मार्च 2026 तक पायलट आधार पर बिल्कुल मुफ्त दिए जाएंगे, जिससे योग्य रीजनल सैटेलाइट चैनल्स को देश के सबसे बड़े फ्री-टू-एयर प्लेटफॉर्म पर अपनी पहुंच बढ़ाने का एक बड़ा मौका मिलेगा।
इन स्लॉट्स के लिए सिर्फ क्षेत्रीय भाषाओं के सैटेलाइट टीवी चैनल ही आवेदन कर सकते हैं। यह जरूरी है कि चैनल सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय से लाइसेंस प्राप्त हो और संविधान की अनुसूची 8 में शामिल भाषा में प्रसारण करता हो। हिंदी और उर्दू चैनल्स को इस प्रक्रिया से बाहर रखा गया है। इसके अलावा, ऐसे भाषाई चैनल्स को प्राथमिकता दी जाएगी जो 'डीडी फ्री डिश' पर अभी तक कम या बिलकुल भी मौजूद नहीं हैं। इनमें कन्नड़, तमिल, तेलुगू, मलयालम, बांग्ला, असमिया और ओड़िया भाषाएं शामिल हैं। क्षेत्रीय न्यूज चैनल्स को भी इसमें प्राथमिकता मिलेगी।
आवेदन करने वाले चैनल्स को अपने जॉनर और भाषा की स्पष्ट व पक्की जानकारी देनी होगी। अगर जानकारी में कोई भी भ्रम, कमी या विरोधाभास पाया गया तो आवेदन को तुरंत खारिज कर दिया जाएगा। आवेदन फॉर्म के साथ दिए गए दस्तावेजों की चेकलिस्ट का पालन करना जरूरी है। चैनल का कंटेंट उसी जॉनर और भाषा में होना चाहिए जो उन्होंने आवेदन में घोषित किया है।
नियमों के मुताबिक, चैनल पर दिखाया जाने वाला कम से कम 75% कंटेंट उसी घोषित जॉनर और भाषा में होना चाहिए। महीने भर के कुल प्रसारण के हिसाब से यह हिस्सा 60% से कम नहीं होना चाहिए। विज्ञापनों और प्रमोशन के समय को इसमें शामिल नहीं किया जाएगा। अगर किसी भी चैनल के प्रसारण में इन नियमों का उल्लंघन पाया गया तो उसकी रिकॉर्डिंग की समीक्षा की जाएगी और समिति की रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई होगी। चैनल को नोटिस देकर जॉनर या भाषा बदलने का विकल्प भी दिया जाएगा। लेकिन अगर चैनल ने तय समय में कोई अनुरोध नहीं दिया तो उसका स्लॉट रद्द किया जा सकता है।
महत्वपूर्ण है कि जो चैनल 2025–26 के लिए हाल में हुए किसी भी ई-ऑक्शन में पहले ही स्लॉट जीत चुके हैं, वे इस मुफ्त स्लॉट के लिए आवेदन नहीं कर पाएंगे। प्रसार भारती ने साफ किया है कि यह सुविधा केवल 31 मार्च 2026 तक ही मुफ्त रहेगी, वह भी पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर।
'न्यूज18 इंडिया' ने अपनी इनपुट टीम को और तेज, मजबूत व बेहतर बनाने के लिए कुछ अहम बदलाव किए हैं।
by
Samachar4media Bureau
'न्यूज18 इंडिया' ने अपनी इनपुट टीम को और तेज, मजबूत व बेहतर बनाने के लिए कुछ अहम बदलाव किए हैं। अब तक नेटवर्क इनपुट संभाल रहे अमित शुक्ला को अब पूरे 'न्यूज18 इंडिया' इनपुट डेस्क की जिम्मेदारी दे दी गई है। वे असाइनमेंट डेस्क, रिपोर्टर टीम, गेस्ट टीम और VJ टीम सहित सभी इनपुट ऑपरेशंस को देखेंगे। इसके साथ ही वे आउटपुट डेस्क और डिजिटल टीम के साथ मिलकर कंटेंट के बेहतर फ्लो पर भी काम करेंगे।
असाइनमेंट डेस्क का रोजाना का काम अब वरिष्ठ पत्रकार अमित चौधरी संभालेंगे। वे खास रिपोर्ट, बड़े एडिटोरियल प्लान, ब्रेकिंग न्यूज और मैदान में काम कर रहे रिपोर्टर्स के साथ तालमेल की जिम्मेदारी देखेंगे।
शैला जाफरी पहले की तरह अपनी भूमिका में बनी रहेंगी और असाइनमेंट डेस्क की मजबूत आधार रहेंगी। वे लंबे समय से न्यूज18 का हिस्सा हैं और चैनल के कामकाज को अच्छी तरह समझती हैं। शैला बड़ी खबरों के दिनों की तैयारी, बड़े इवेंट्स और स्टोरी प्लानिंग जैसे अहम काम संभालती रहेंगी।
नए स्ट्रक्चर में अमित चौधरी और शैला- दोनों अमित शुक्ला को रिपोर्ट करेंगे और अमित शुक्ला सीधे चैनल हेड को रिपोर्ट करेंगे। वहीं अमिताभ सिन्हा पहले की तरह इन सभी कामों की निगरानी जारी रखेंगे।
न्यू दिल्ली टेलीविजन लिमिटेड (NDTV) ने अपने स्वतंत्र निदेशक विरल जगदीश दोशी को दूसरी बार तीन साल के लिए नियुक्त करने के लिए पोस्टल बैलट (ई-वोटिंग) प्रक्रिया शुरू कर दी है।
by
Vikas Saxena
न्यू दिल्ली टेलीविजन लिमिटेड (NDTV) ने अपने स्वतंत्र निदेशक विरल जगदीश दोशी को दूसरी बार तीन साल के लिए नियुक्त करने के लिए पोस्टल बैलट (ई-वोटिंग) प्रक्रिया शुरू कर दी है। कंपनी ने अपने सभी शेयरधारकों को 27 नवंबर, 2025 से 26 दिसंबर, 2025 तक ऑनलाइन वोट देने का मौका दिया है। शेयरधारक NDTV की वेबसाइट और NSDL की वेबसाइट पर जाकर सुरक्षित तरीके से अपनी सहमति या असहमति दर्ज कर सकते हैं।
कंपनी ने बताया कि अगर अधिकतर शेयरधारक दोशी की नियुक्ति का समर्थन करते हैं, तो उन्हें 24 जनवरी, 2026 से 23 जनवरी, 2029 तक फिर से स्वतंत्र निदेशक के रूप में सेवा दी जाएगी। पोस्टल बैलट के नतीजे जैसे ही घोषित होंगे, उन्हें BSE और NSE की वेबसाइट पर और कंपनी की वेबसाइट www.ndtv.com पर उपलब्ध कराया जाएगा। इसके अलावा, जिन शेयरधारकों ने अब तक अपने ईमेल पते अपडेट नहीं किए हैं, उन्हें निर्देश दिया गया है कि वे इसे जल्द अपडेट करें ताकि ऑनलाइन वोटिंग में हिस्सा ले सकें।
विरल जगदीश दोशी का जन्म 8 सितंबर, 1958 को हुआ था और वे 67 साल के हैं। उन्होंने इंग्लैंड से 'A' लेवल्स और अमेरिका के कॉर्नेल यूनिवर्सिटी से इंजीनियरिंग में स्नातक की पढ़ाई की है। बतौर प्रोफेशनल वे कई शिक्षा संस्थानों के सलाहकार हैं और शिक्षा व करियर पर नियमित लेखन करते हैं। वे स्कूलों, कॉलेजों और कॉन्फ्रेंस में वक्ता के रूप में शामिल होते हैं और वर्कशॉप व सेमिनार का संचालन भी करते हैं।
जगदीश दोशी ने “Undefiled Heritage - a History of the 150 years of Cathedral School, Mumbai” और राष्ट्रीय बेस्टसेलर “Indian Roots Ivy Admits - 85 Essays that got Indian Students into the Ivy League and Stanford” जैसी किताबें भी लिखी हैं। उनकी विशेषज्ञता में नेतृत्व, शिक्षा परामर्श, वित्तीय और जोखिम प्रबंधन, कॉर्पोरेट गवर्नेंस, स्वास्थ्य, सुरक्षा, पर्यावरण और स्थिरता शामिल हैं।
NDTV में जगदीश दोशी वर्तमान में नामांकन व वेतनमान समिति के चेयरपर्सन हैं और ऑडिट कमिटी, स्टेकहोल्डर रिलेशनशिप कमेटी और CSR कमेटी के सदस्य भी हैं। वे NDTV Convergence Limited और The Western India Automobile Association के निदेशक भी रह चुके हैं। कंपनी ने स्पष्ट किया है कि जगदीश दोशी किसी अन्य निदेशक या मैनेजमेंट से संबंधित नहीं हैं और उनकी नियुक्ति से NDTV बोर्ड में नेतृत्व, अनुभव और विशेषज्ञता और मजबूत होगी।
जियोस्टार (JioStar) ने हरियाणा के सोनीपत में एक केबल ऑपरेटर नूरा केबल नेटवर्क (Noora Cable Network) के खिलाफ सख्त कानूनी कदम उठाया है।
by
Samachar4media Bureau
JioStar के पेड चैनलों की चोरी पकड़ी गई, सोनीपत में केबल ऑपरेटर के खिलाफ पुलिस कार्रवाई
जियोस्टार (JioStar) ने हरियाणा के सोनीपत में एक केबल ऑपरेटर नूरा केबल नेटवर्क (Noora Cable Network) के खिलाफ सख्त कानूनी कदम उठाया है। कंपनी ने आरोप लगाया कि यह ऑपरेटर JioStar के पेड टीवी चैनल बिना किसी अनुमति के चोरी-छिपे चला रहा था। जो चैनल एन्क्रिप्टेड होने चाहिए थे, उन्हें यह ऑपरेटर खुले तौर पर दिखा रहा था, जिससे कंपनी के प्रसारण और कॉपीराइट नियमों का सीधा उल्लंघन हो रहा था।
JioStar की एंटी-पायरेसी टीम की शिकायत पर स्थानीय पुलिस ने 20 नवंबर 2025 को FIR दर्ज की है। इसके बाद पुलिस ने ऑपरेटर के कंट्रोल रूम पर छापेमारी की और वह उपकरण जब्त किए जिनसे चैनलों की अवैध स्ट्रीमिंग की जा रही थी।
फिलहाल जांच जारी है और पुलिस यह पता लगा रही है कि यह ऑपरेटर गैरकानूनी फीड कहाँ से ले रहा था। अधिकारियों का कहना है कि आने वाले दिनों में और भी कार्रवाई और गिरफ्तारियाँ हो सकती हैं।
JioStar पिछले कुछ समय से देशभर में पायरेसी रोकने के लिए बड़े स्तर पर अभियान चला रहा है। कंपनी का कहना है कि ऐसी सख्त कार्रवाई जरूरी है ताकि उसके चैनलों के अधिकार सुरक्षित रहें, असली डिस्ट्रीब्यूटर्स का नुकसान न हो और दर्शकों तक सही रास्ते से कंटेंट पहुंच सके।
टीवी ब्रॉडकास्टर्स ने TRAI के ताजा शो-कॉज नोटिस के खिलाफ एकजुट होकर कानूनी तैयारी शुरू कर दी है।
by
Samachar4media Bureau
टीवी ब्रॉडकास्टर्स ने TRAI के ताजा शो-कॉज नोटिस के खिलाफ एकजुट होकर कानूनी तैयारी शुरू कर दी है। TRAI ने हाल ही में टीवी चैनलों को 10+2 ऐड कैप यानी हर घंटे सिर्फ 12 मिनट का विज्ञापन दिखाने के नियम के उल्लंघन को लेकर 250 से ज्यादा नोटिस भेजे हैं। लेकिन चैनल कह रहे हैं कि जब ये मामला पहले से ही कोर्ट में चल रहा है तो TRAI किसी तरह की कार्रवाई नहीं कर सकता।
इंडस्ट्री की दो बड़ी बॉडी IBDF और NBDA इस पर मिलकर अगला कदम तय कर रही हैं। माना जा रहा है कि दोनों मिलकर एक संयुक्त कानूनी रणनीति बना सकती हैं।
असल में 2013 में दिल्ली हाई कोर्ट ने साफ कहा था कि जब तक केस पूरी तरह नहीं निपट जाता, TRAI ऐड-कैप नियम पर कोई सख्त कार्रवाई नहीं करेगा। चैनलों का कहना है कि कोर्ट ने न तो स्टे हटाया है और न ही फैसला दिया है, ऐसे में नोटिस भेजकर कार्रवाई की कोशिश करना कोर्ट के आदेश के खिलाफ है।
TRAI के नोटिस में कहा गया है कि कई चैनल हर हफ्ते विज्ञापन की अवधि का पूरा डेटा जमा नहीं कर रहे और कुछ चैनल 12 मिनट से ज्यादा का ऐड भी चला रहे हैं। लेकिन चैनलों का तर्क है कि जिस नियम को लेकर कोर्ट ने पहले ही रोक लगा रखी है, उसे लागू करने की कोशिश करना गलत है।
ब्रॉडकास्टर्स का यह भी कहना है कि ऐसे समय में जब टीवी इंडस्ट्री बढ़ती लागत, कम होती कमाई और OTT व DD Free Dish की बढ़ती प्रतिस्पर्धा से जूझ रही है, यदि विज्ञापन का समय जबरन कम किया गया तो खासकर फ्री-टू-एयर और रीजनल चैनल गंभीर आर्थिक संकट में पड़ जाएंगे।
20 नवंबर इस संस्थान में उनका आखिरी कार्यदिवस था और संस्थान के सहयोगियों ने उन्हें शानदार फेयरवेल देकर उज्ज्वल भविष्य की शुभकामनाएं दीं।
by
Samachar4media Bureau
टीवी न्यूज की दुनिया के जाने-माने चेहरे और सीनियर न्यूज एंकर सुमित अवस्थी के बारे में खबर है कि उन्होंने ‘एनडीटीवी’ (NDTV) में अपनी पारी को विराम दे दिया है। वह करीब ढाई साल से ‘एनडीटीवी इंडिया’ (NDTV India) में बतौर कंसल्टिंग एडिटर अपनी जिम्मेदारी निभा रहे थे और 'हम भारत के लोग' व ‘खबरों की खबर’ नाम से शो होस्ट कर रहे थे।
20 नवंबर इस संस्थान में उनका आखिरी कार्यदिवस था और संस्थान के सहयोगियों ने उन्हें शानदार फेयरवेल देकर उज्ज्वल भविष्य की शुभकामनाएं दीं। सुमित अवस्थी ने इस्तीफा क्यों दिया और उनका अगला कदम क्या होगा, फिलहाल इस बारे में जानकारी नहीं मिल सकी है।
सुमित अवस्थी को पत्रकारिता के क्षेत्र में काम करने का करीब ढाई दशक का अनुभव है। ‘एनडीटीवी’ में जुलाई 2023 में अपनी पारी शुरू करने से पहले वह ‘एबीपी न्यूज’ में वाइस प्रेजिडेंट (न्यूज व प्रॉडक्शन) के तौर पर अपनी सेवाएं दे रहे थे। सुमित अवस्थी ने वर्ष 2018 में ‘एबीपी न्यूज’ में बतौर कंसल्टिंग एडिटर जॉइन किया था। इससे पहले वह ‘नेटवर्क18’ (Network 18) में डिप्टी मैनेजिंग एडिटर के तौर पर अपनी जिम्मेदारी संभाल रहे थे। वह ‘जी न्यूज’ (Zee News) में रेजिडेंट एडिटर भी रह चुके हैं।
सुमित अवस्थी करीब पांच साल तक ‘आजतक’ (Aaj Tak) में भी रह चुके हैं। यहां वह डिप्टी एडिटर के तौर पर कार्यरत थे। सुमित राजनीति में अच्छी पकड़ और बेहतर रिपोर्टिंग के लिए जाने जाते हैं। पत्रकारिता में उल्लेखनीय योगदान के लिए उन्हें अब तक ‘दादा साहेब फाल्के एक्सीलेंस अवॉर्ड‘ और ‘माधव ज्योति अवॉर्ड‘ समेत प्रतिष्ठित ‘एक्सचेंज4मीडिया न्यूज ब्रॉडकास्टिंग अवॉर्ड्स’ (enba) से भी नवाजा जा चुका है।
सुमित अवस्थी का जन्म लखनऊ (उत्तर प्रदेश) में हुआ है। केंद्रीय विद्यालय, इंदौर से अपनी स्कूलिंग पूरी करने के बाद उन्होंने इंदौर में ही ‘होलकर साइंस कॉलेज’ से ग्रेजुएशन की है। इसके बाद उन्होंने दिल्ली स्थित ‘भारतीय विद्या भवन‘ से पत्रकारिता की पढ़ाई की है।