यूपी के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने दिखाई दरियादिली, एक वरिष्ठ पत्रकार की बचाई जान 

यूपी के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक का मानवीय पहलू एक बार फिर सामने आया है, जब उनकी तत्परता और सहयोग से वरिष्ठ पत्रकार राघवेंद्र प्रताप सिंह की जान बचाई जा सकी

समाचार4मीडिया ब्यूरो by
Published - Monday, 11 November, 2024
Last Modified:
Monday, 11 November, 2024
BrajeshPathak7845


उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक का मानवीय पहलू एक बार फिर सामने आया है, जब उनकी तत्परता और सहयोग से वरिष्ठ पत्रकार राघवेंद्र प्रताप सिंह को समय पर उपचार मिला और उनकी जान बचाई जा सकी।

शनिवार को मान्यता प्राप्त पत्रकार एकादश और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया एकादश के बीच में सेमीफाइनल का मैच खेला जा रहा था, तभी फील्डिंग के दौरान मीडिया क्रिकेट टीम के कप्तान राघवेन्द्र प्रताप सिंह को अचानक सीने में दर्द होने लगा।

शनिवार को लखनऊ के केडी सिंह बाबू स्टेडियम में चल रहे इकाना मीडिया T-20 कप में पत्रकारों के बीच क्रिकेट मैच हो रहा था। इस दौरान मान्यता प्राप्त पत्रकार एकादश और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया एकादश में सेमीफाइनल का मैच खेला जा रहा था। इस बीच फील्डिंग के दौरान मीडिया क्रिकेट टीम के कप्तान राघवेन्द्र प्रताप सिंह को अचानक सीने में दर्द होने लगा। बिना किसी को बताए, वह ड्राइवर के साथ सिविल अस्पताल पहुंचे, जहां जांच के दौरान हृदयाघात का पता चला। 

इस खबर पर उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक तुरंत सिविल अस्पताल पहुंचे और स्थिति की गंभीरता को देखते हुए राघवेंद्र प्रताप को पीजीआई में शिफ्ट करवाया। उनकी देखरेख में पीजीआई में डॉक्टरों द्वारा तुरंत एंजियोग्राफी और एंजियोप्लास्टी की गई, जिसमें एक स्टंट डाला गया।

ब्रजेश पाठक ने न केवल राघवेंद्र प्रताप सिंह के इलाज के लिए 55,000 रुपए की आर्थिक सहायता दी बल्कि अस्पताल की औपचारिकताएं भी खुद पूरी कीं। साथ ही, उन्होंने आश्वासन दिया कि भविष्य में भी जो भी खर्चे आएंगे, उसे वे उठाएंगे। इस संवेदनशील कदम की सोशल मीडिया पर भी जमकर सराहना हो रही है।

इलाज के बाद डॉक्टरों ने राघवेंद्र प्रताप को खतरे से बाहर बताया है और संभवतः दो-तीन दिन में उन्हें डिस्चार्ज किया जा सकता है। ब्रजेश पाठक की त्वरित सहायता और सहयोग ने एक बार फिर साबित कर दिया कि उनके लिए जनता की सेवा ही सर्वोपरि है।

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एनडीटीवी का ‘Indian of the Year 2024’ कार्यक्रम आज, प्रतिभाओं को किया जाएगा सम्मानित ?>

इस साल कार्यक्रम की थीम ‘Celebrating India – Inspiring Excellence’ रखी गई है। ‘एनडीटीवी’ नेटवर्क के सभी प्लेटफॉर्म्स पर इस कार्यक्रम का लाइव प्रसारण किया जाएगा।

समाचार4मीडिया ब्यूरो by
Published - Thursday, 05 December, 2024
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Thursday, 05 December, 2024
NDTV

देश के प्रमुख मीडिया नेटवर्क्स में शुमार ‘एनडीटीवी’ (NDTV) भारतीय समाज को सशक्त बनाने और देश के विकास में महत्वपूर्ण योगदान देने वालों को सम्मानित करने के लिए 'इंडियन ऑफ द ईयर 2024' कार्यक्रम का आयोजन करने जा रहा है। इस कार्यक्रम का आयोजन छह दिसंबर 2024 को अपराह्न तीन बजे से दिल्ली के ताज पैलेस होटल में किया जाएगा।

इस वर्ष के समारोह में देश-विदेश के दिग्गजों, प्रमुख हस्तियों और मीडिया जगत के प्रतिनिधियों की उपस्थिति देखने को मिलेगी। इसके तहत तमाम श्रेणियों में अपना उल्लेखनीय योगदान देने वालों को सम्मानित किया जाएगा। 

इस साल कार्यक्रम की थीम ‘Celebrating India – Inspiring Excellence’ रखी गई है। ‘एनडीटीवी’ नेटवर्क के सभी प्लेटफॉर्म्स पर इस कार्यक्रम का लाइव प्रसारण किया जाएगा।

विजेताओं के चयन के लिए जो जूरी गठित की गई, उसमें सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज जस्टिस एके सीकरी, आरपी-संजीव गोयनका ग्रुप के चेयरमैन डॉ. संजीव गोयनका, पूर्व नेवी चीफ करमवीर सिंह, जानी-मानी बॉलीवुड अभिनेत्री आशा पारेख, ऐड गुरु पीयूष पांडे और सेबी के पूर्व चेयरमैन यूके सिन्हा शामिल रहे।

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हेपेटाइटिस-बी जागरूकता कार्यक्रम में सम्मानित हुए ‘भारत एक्सप्रेस’ के CMD उपेंद्र राय ?>

हेपेटाइटिस-बी के बारे में जागरूकता बढ़ाने की दिशा में ‘ILBS में आयोजित हुए कार्यक्रम में जाने-माने फिल्म निर्माता बोनी कपूर और डॉ. सरीन से जुड़ी विशेष जानकारी भी साझा की।

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Published - Thursday, 05 December, 2024
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Thursday, 05 December, 2024
Upendra Rai

‘भारत एक्सप्रेस’ (Bharat Express) न्यूज नेटवर्क के सीएमडी उपेंद्र राय ने ‘द इंस्टिट्यूट ऑफ लिवर एंड बिलियरी साइंसेस’ (ILBS) में आयोजित हेपेटाइटिस-बी जागरूकता कार्यक्रम में भाग लिया। इस कार्यक्रम में प्रसिद्ध फिल्म निर्माता बोनी कपूर, दिल्ली के चीफ सेक्रेटरी धर्मेन्द्र, नर्सिंग काउंसिल के अध्यक्ष डॉ. दिलीप कुमार और डॉ. वंदना बग्गा भी मौजूद रहे।

कार्यक्रम के दौरान उपेंद्र राय ने बोनी कपूर के साथ अपने 18 साल पुराने संबंधों का उल्लेख करते हुए कहा कि बोनी कपूर न केवल फिल्म इंडस्ट्री के सफल निर्माता हैं, बल्कि वह एक सहृदय और मददगार व्यक्ति भी हैं। उन्होंने कहा, ‘बोनी साहब से मेरा परिचय करीब 18 साल से है। शुरू से ही आप सहारा चेयरमैन (दिवंगत सहाराश्री सुब्रत राय सहारा) के बहुत करीब रहे। कुछ वक्त आपने सहारा ग्रुप के एंटरटेनमेंट का पूरा बिजनेस देखा था, उसे आपने सहारा चेयरमैन के आग्रह पर कुछ समय तक सुपरवाइज भी किया और साल 2009 में मेरा परिचय आपसे उस तरह से हुआ, जब मैंने अपने जीवन के दूसरे पड़ाव में बतौर ग्रुप सीईओ सहारा न्यूज नेटवर्क जॉइन किया। बोनी जी हमेशा दूसरों की मदद के लिए आगे रहते हैं और बिना किसी दिखावे के दूसरों का सहारा बनते हैं।’

इसके अलावा उपेंद्र राय ने बोनी कपूर के परिवार का भी जिक्र किया, विशेषकर उनकी बेटियों जान्हवी और खुशी कपूर के बारे में, और कहा कि बोनी जी ने उन्हें बहुत अच्छे संस्कार दिए हैं। उन्होंने अनिल कपूर को भी देश के सबसे सफल और मेहनती फिल्म अभिनेताओं में से एक बताया। उन्होंने आगे कहा, ’भारत के इतिहास में कह सकते हैं कि ‘मिस्टर इंडिया’ एक ऐसी मूवी है जिसका एक डायलाग हम लोग बड़े हुए तब से हमें याद है। 1987 में वो मूवी रिलीज हुई मोगैंबो खुश हुआ।’

ILBS के डायरेक्टर डॉ. एसके सरीन ने हेपेटाइटिस-बी के खतरे के बारे में जागरूकता फैलाने की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने बताया कि भारत में लगभग 3 करोड़ लोग हेपेटाइटिस-बी से प्रभावित हैं, और केवल 13 प्रतिशत को ही इसके बारे में जानकारी है। डॉ. सरीन ने सभी से अपील की कि वे हेपेटाइटिस-बी से पीड़ित व्यक्तियों के साथ भेदभाव न करें, क्योंकि यह बीमारी अनुवांशिक हो सकती है और इसके इलाज के लिए दिल्ली के सभी अस्पतालों में दवाइयां मुफ्त उपलब्ध हैं।

कार्यक्रम के अंत में डॉ. सरीन ने उपस्थित सभी लोगों से शपथ दिलाई कि वे हेपेटाइटिस-बी के बारे में जागरूकता फैलाने, इसके खिलाफ चलाए जा रहे अभियानों में सहयोग करने और इस बीमारी से प्रभावित लोगों के साथ भेदभाव न करने का संकल्प लें।

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पत्रकार विकास राज तिवारी दिल्ली में डॉक्टरेट की मानद उपाधि से सम्मानित ?>

विकास राज तिवारी ने पिछले 14 वर्षों में पत्रकारिता के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। टेलीविजन पत्रकारिता में उन्होंने कई नामी राजनेताओं और समाजसेवियों का साक्षात्कार किया।

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Published - Wednesday, 04 December, 2024
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Wednesday, 04 December, 2024
vikastiwari

दिल्ली के कॉन्स्टिट्यूशन क्लब में आयोजित एक विशेष समारोह में वरिष्ठ पत्रकार विकास राज तिवारी को Legendary Peace Award Council द्वारा डॉक्टरेट की मानद उपाधि से सम्मानित किया गया। यह संस्था भारत सरकार के कॉरपोरेट अफेयर्स मंत्रालय से संबद्ध है। इस अवसर पर देश-विदेश के प्रमुख नेता, वरिष्ठ नौकरशाह और विभिन्न देशों के प्रतिनिधि मौजूद थे।

विकास राज तिवारी ने पिछले 14 वर्षों में पत्रकारिता के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। टेलीविजन पत्रकारिता में उन्होंने कई नामी राजनेताओं और समाजसेवियों का साक्षात्कार किया, जिसमें आरएसएस के वरिष्ठ नेता इंद्रेश कुमार भी शामिल हैं। डिजिटल मीडिया में उन्होंने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के माध्यम से खबरों को यूजर्स की रुचि के अनुरूप ढालते हुए पत्रकारिता को नई ऊंचाई दी।

विकास वर्तमान में One India News में कंटेंट एडिटर के रूप में कार्यरत हैं। साथ ही वह IMO जैसे अंतरराष्ट्रीय सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के लिए कंटेंट ऑपरेशंस संभाल रहे हैं। उनकी भूमिका खबरों को यूजर्स की आदतों और रुचि के अनुसार प्रस्तुत करने की है। इसके अलावा, वह एक अंतरराष्ट्रीय न्यूज स्टार्टअप AVS POST (Asian Voice Standard Post) का संचालन भी कर रहे हैं। यह प्लेटफॉर्म हिंदी, अंग्रेजी और गुजराती भाषाओं में खबरें प्रकाशित करता है और इसका मुख्यालय अमेरिका के कोलोराडो में स्थित है।

विकास राज तिवारी को WAN-IFRA (World Association of News Publishers) जैसे अंतरराष्ट्रीय संगठन से भी जुड़ने का अवसर मिला है। उनके उत्कृष्ट कार्य को कई प्रतिष्ठित पुरस्कारों से सम्मानित किया जा चुका है, जिनमें BCR Award प्रमुख है।

विकास ने अपने करियर की शुरुआत इंडिया टीवी से की थी और इसके बाद एमएचवन, फोकस टीवी, सुदर्शन न्यूज, साधना न्यूज और नारदा न्यूज जैसे प्रतिष्ठित मीडिया संगठनों के साथ काम किया। नारदा न्यूज में उन्होंने बतौर पॉलिटिकल एडिटर काम किया और कई बड़े राजनीतिक इंटरव्यू किए। डिजिटल मीडिया में उन्होंने Welike जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर न्यूज एडिटर के तौर पर काम करते हुए यूजर्स हैबिट और कंटेंट ऑपरेशंस पर विशेष ध्यान दिया।

विकास का अंतरराष्ट्रीय अनुभव भी उल्लेखनीय है। उन्होंने सिंगापुर में आयोजित एक डिजिटल मीडिया कॉन्फ्रेंस में भारत का प्रतिनिधित्व किया और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के माध्यम से खबरों की विश्वसनीयता बनाए रखने पर अपने विचार साझा किए। उनकी इस पहल को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर काफी सराहना मिली।

विकास पत्रकारिता के साथ-साथ सामाजिक गतिविधियों में भी सक्रिय हैं। वह Feel the Change Foundation के संस्थापक हैं, जो डिजिटल साक्षरता और बेहतर पेरेंटिंग जैसे मुद्दों पर काम कर रही है। वह नोएडा की महार्षि यूनिवर्सिटी ऑफ इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी की एंटी-रैगिंग कमेटी के सदस्य भी हैं।

डॉक्टरेट की मानद उपाधि मिलने पर विकास ने इसे ईश्वर की कृपा और अपने शुभचिंतकों का आशीर्वाद बताया। उन्होंने कहा कि यह सम्मान उन्हें समाज और पत्रकारिता के प्रति अपनी जिम्मेदारियों को और गंभीरता से निभाने के लिए प्रेरित करेगा। विकास का मानना है कि डिजिटल युग में खबरों की सटीकता और यूजर्स की रुचि को प्राथमिकता देना ही पत्रकारिता की नई परिभाषा है। 

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‘न्यूजनशा’ की पहल: नितिन गडकरी और अखिलेश यादव ने सड़क सुरक्षा पर खुलकर की चर्चा ?>

सड़क सुरक्षा के महत्व को बताने और लोगों में इसके प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए डिजिटल न्यूज प्लेटफॉर्म ‘न्यूजनशा’ ने 30 नवंबर को लखनऊ में एक विशेष कार्यक्रम 'Value Life , Drive Safe' का आयोजन किया।

समाचार4मीडिया ब्यूरो by
Published - Monday, 02 December, 2024
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Monday, 02 December, 2024
News Nasha Event

सड़क सुरक्षा के महत्व को बताने और लोगों में इसके प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए डिजिटल न्यूज प्लेटफॉर्म ‘न्यूजनशा’ (NewsNasha) ने 30 नवंबर को लखनऊ में एक विशेष कार्यक्रम 'Value Life , Drive Safe' का आयोजन किया। लखनऊ के इकाना स्टेडियम में आयोजित इस कार्यक्रम में केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने हिस्सा लिया और खुलकर  चर्चा की। ‘न्यूजनशा’ के अनुसार,  इस कार्यक्रम का उद्देश्य उन परिवारों को सम्मानित करना और प्रेरित करना था, जिन्होंने सड़क दुर्घटनाओं में अपने प्रियजनों को खो दिया है, साथ ही युवाओं को सड़क सुरक्षा के नियमों का पालन करने के लिए प्रेरित करना था।

नितिन गडकरी ने साझा किया अपना अनुभव

कार्यक्रम के दौरान नितिन गडकरी ने एक बेहद भावुक किस्सा साझा किया। उन्होंने बताया कि एक समय सड़क दुर्घटना में उन्हें गंभीर चोटें आई थीं  और आज भी वह उस दुर्घटना के प्रभाव से जूझ रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘सड़क पर लापरवाही न केवल हमारे जीवन को खतरे में डालती है, बल्कि हमारे परिवार और समाज पर भी गहरा प्रभाव डालती है।’

गडकरी ने यह भी बताया कि सड़क दुर्घटनाओं को कम करने के लिए सरकार लगातार काम कर रही है। उन्होंने छात्रों को सलाह दी कि हेलमेट पहनना, सीट बेल्ट का उपयोग करना और ट्रैफिक सिग्नल का पालन करना हर नागरिक की जिम्मेदारी है। उन्होंने कहा, ’यदि हम खुद नियमों का पालन करेंगे, तो दूसरों के लिए भी एक उदाहरण बनेंगे।’

अखिलेश यादव ने सड़क दुर्घटनाओं पर जताई चिंता

कार्यक्रम में अखिलेश यादव ने उत्तर प्रदेश की सड़क दुर्घटनाओं पर चिंता जताई और राज्य सरकार की आलोचना की। उन्होंने कहा कि ‘यूपी में सड़क दुर्घटनाओं की संख्या लगातार बढ़ रही है। योगी सरकार ने सड़क सुरक्षा के उपायों पर पर्याप्त ध्यान नहीं दिया है।’

अखिलेश यादव ने यह भी कहा कि यदि राज्य सरकार सड़कों की स्थिति सुधारने और सड़क सुरक्षा नियमों को सख्ती से लागू करने पर काम करती तो दुर्घटनाओं की संख्या में कमी आ सकती थी। साथ ही, उन्होंने युवाओं को संबोधित करते हुए कहा कि उनकी भूमिका सड़क सुरक्षा को सुनिश्चित करने में सबसे महत्वपूर्ण है।

विद्यार्थियों के साथ संवाद

इस कार्यक्रम की सबसे खास बात यह थी कि नितिन गडकरी और अखिलेश यादव दोनों ने लगभग 8,000 छात्रों के साथ संवाद किया। छात्रों ने सड़क सुरक्षा से जुड़े अपने सवाल पूछे, जिनका दोनों नेताओं ने विस्तार से जवाब दिया। गडकरी ने छात्रों से पूछा, ’आप में से कितने लोग बिना हेलमेट के बाइक चलाते हैं? ’ सवाल के बाद बड़ी संख्या में छात्रों ने हाथ उठाए, जिस पर गडकरी ने कहा, ’आज ही से यह आदत बदलें। जीवन अमूल्य है, और एक हेलमेट आपकी जान बचा सकता है।’

अखिलेश यादव ने छात्रों को प्रेरित करते हुए कहा, ’आप हमारे देश का भविष्य हैं। अगर आप सुरक्षित रहेंगे, तो हमारा देश सुरक्षित रहेगा।’ उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि स्कूल और कॉलेजों में सड़क सुरक्षा को पाठ्यक्रम का हिस्सा बनाया जाना चाहिए।

कार्यक्रम में ’न्यूजनशा ’ की ओर से यह भी बताया गया कि भारत में हर साल लाखों सड़क दुर्घटनाएं होती हैं, जिनमें से अधिकतर दुर्घटनाएं लापरवाही,  तेज रफ्तार और सड़क नियमों के उल्लंघन के कारण होती हैं। ‘न्यूजनशा’ ने इस कार्यक्रम के अंत में यह घोषणा की कि वे ऐसे आयोजनों को और भी बड़े स्तर पर ले जाएंगे। उन्होंने कहा कि सड़क सुरक्षा केवल एक मुद्दा नहीं है, बल्कि यह हर नागरिक की जिम्मेदारी है। ’न्यूज24 ’ ने इस कार्यक्रम को अपने दर्शकों तक पहुंचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। लाइव प्रसारण के जरिए यह आयोजन लाखों लोगों तक पहुंचा और सड़क सुरक्षा को लेकर एक नई जागरूकता पैदा की।

मुख्य मुद्दों पर जोर

कार्यक्रम के दौरान निम्नलिखित बिंदुओं पर चर्चा की गई:

1.तेज रफ्तार और लापरवाही: गडकरी ने बताया कि तेज रफ्तार सड़क दुर्घटनाओं का सबसे बड़ा कारण है। उन्होंने कहा कि स्पीड लिमिट का पालन करना हर वाहन चालक के लिए अनिवार्य है।

2. सड़क डिज़ाइन और इंफ्रास्ट्रक्चर: दोनों नेताओं ने बेहतर सड़क डिज़ाइन और सड़क पर स्पष्ट चिह्नों की जरूरत पर जोर दिया।

3. युवाओं की भागीदारी: युवाओं को सड़क सुरक्षा अभियानों में सक्रिय रूप से भाग लेने और अन्य लोगों को भी जागरूक करने की अपील की गई।

4.परिवारों की कहानियां: सड़क दुर्घटनाओं में अपने प्रियजनों को खोने वाले परिवारों ने अपनी कहानियां साझा कीं, जिससे दर्शकों को समझने में मदद मिली कि यह मुद्दा कितना गंभीर है।

छात्रों और परिवारों पर प्रभाव

इस आयोजन का छात्रों और परिवारों पर गहरा प्रभाव पड़ा। कई छात्रों ने माना कि वे अब सड़क पर अधिक सतर्क रहेंगे। वहीं, कुछ परिवारों ने यह महसूस किया कि इस तरह के कार्यक्रम उनकी आवाज को एक मंच देते हैं और उनके अनुभवों से अन्य लोग सीख सकते हैं।

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सेंट जोसेफ यूनिवर्सिटी के साथ मिलकर एडिटर्स गिल्ड करेगा ये कॉन्क्लेव ?>

एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया (EGI) सेंट जोसेफ यूनिवर्सिटी के साथ मिलकर 7 दिसंबर 2024 को बेंगलुरु कॉन्क्लेव का आयोजन करेगा।

समाचार4मीडिया ब्यूरो by
Published - Thursday, 28 November, 2024
Last Modified:
Thursday, 28 November, 2024
EGI7841

एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया (EGI) सेंट जोसेफ यूनिवर्सिटी के साथ मिलकर 7 दिसंबर 2024 को बेंगलुरु कॉन्क्लेव का आयोजन करेगा।

इस कार्यक्रम का विषय है "डिजिटल क्रॉसरोड्स पर पत्रकारिता: कानूनी, तकनीकी और नैतिक चुनौतियां" (Journalism @ Digital Crossroads: Legal, Technological, and Ethical Challenges)। यह एक दिवसीय आयोजन आधुनिक पत्रकारिता के सामने आने वाले महत्वपूर्ण मुद्दों पर केंद्रित होगा। 

कॉन्क्लेव में प्रमुख पत्रकार, मीडिया विशेषज्ञ और प्रैक्टिशनर्स शामिल होंगे, जो डिजिटल युग में पत्रकारिता के बदलते परिदृश्य पर चर्चा करेंगे। चर्चा के मुख्य विषयों में भारत में डिजिटल पत्रकारिता को प्रभावित करने वाले कानूनी ढांचे और विनियमों के इर्द-गिर्द केंद्रित होगी, जिसमें मीडिया के नैरेटिव्स पर प्रौद्योगिकी कंपनियों के प्रभाव और प्रेस की स्वतंत्रता के निहितार्थों का विश्लेषण किया जाएगा।

विशेषज्ञ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के समाचार निर्माण में उपयोग और इसके नैतिक पहलुओं पर भी विचार करेंगे, साथ ही डिजिटल युग में पत्रकारिता की साख बनाए रखने की चुनौतियों का समाधान करेंगे। इसके अलावा, गलत सूचनाओं और फेक न्यूज से निपटने के लिए रणनीतियों पर भी चर्चा की जाएगी, ताकि पत्रकारिता की विश्वसनीयता कायम रखी जा सके।

 यह आयोजन विचारशील चर्चाओं और ज्ञान-साझाकरण का एक मंच प्रदान करेगा, जहां प्रतिभागी डिजिटल युग में पत्रकारिता के सामने आने वाले अवसरों और चुनौतियों की गहरी समझ प्राप्त कर सकेंगे।

कॉन्क्लेव 7 दिसंबर 2024 को सुबह 9:30 बजे सेंट जोसेफ यूनिवर्सिटी, बेंगलुरु में आयोजित होगा। यह कार्यक्रम छात्रों, पत्रकारों और मीडिया प्रैक्टिशनर्स के लिए खुला है।

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‘न्यूज नशा’ का 'Value Life , Drive Safe' कार्यक्रम 30 नवंबर को ?>

सड़क सुरक्षा का महत्व बताने और लोगों में इसके प्रति जागरूकता लाने के लिए डिजिटल न्यूज प्लेटफॉर्म ‘न्यूज नशा’ 30 नवंबर को लखनऊ में एक विशेष कार्यक्रम 'Value Life , Drive Safe' आयोजित करने जा रहा है।

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Published - Wednesday, 27 November, 2024
Last Modified:
Wednesday, 27 November, 2024
News Nasha

सड़क सुरक्षा के महत्व को बताने और लोगों में इसके प्रति जागरूकता लाने के लिए डिजिटल न्यूज प्लेटफॉर्म ‘न्यूज नशा’ (News Nasha) 30 नवंबर को लखनऊ में एक विशेष कार्यक्रम 'Value Life , Drive Safe' आयोजित करने जा रहा है।

‘न्यूज नशा’ के अनुसार, लखनऊ के इकाना स्टेडियम में होने जा रहे इस कार्यक्रम में देश के प्रमुख नेता और विचारक शामिल होंगे। अपनी लॉन्चिंग के बाद से अपने अब तक के सफर में ‘न्यूजनशा’ ने सड़क सुरक्षा से लेकर सामाजिक बदलाव तक तमाम मुद्दों पर कई इवेंट्स आयोजित किए हैं, जिसमें देश के बड़े नेता और प्रतिष्ठित हस्तियां मौजूद रहीं।

गौरतलब है कि सड़क सुरक्षा में लापरवाही अथवा जागरूकता का अभाव देश में एक ऐसी समस्या है, जिसे नजरअंदाज करना हमारी सबसे बड़ी भूल हो सकती है। यह समस्या न केवल हजारों जिंदगियां खत्म कर रही है, बल्कि परिवारों और समाज को भी गहरे जख्म दे रही है। आंकड़े चौंकाने वाले हैं और इस समस्या की गंभीरता को दिखाते हैं।

1. भारत में ही हर साल लगभग 80 हजार लोग सड़क दुर्घटनाओं में मारे जाते हैं, जो पूरी दुनिया में होने वाली कुल मौतों का 13 प्रतिशत है

2. दुनिया भर में होने वाली सड़क दुर्घटनाओं में हर साल 13.5 लाख लोग मारे जाते हैं

3. सड़क एवं परिवहन मंत्रालय के 2022 के रोड एक्सीडेंट डाटा के अनुसार भारत में रोज 1263 सड़क दुर्घटनाओं में 462 मौतें होती हैं यानी हर घंटे भारत में 53 सड़क दुर्घटनाओं में 19 लोगों की मौत होती है. एक अनुमान के मुताबिक 2024 तक ये आंकड़ा और बढ़ गया है यानी करीब 50 मौतें रोज और ज्यादा.

4. भारत में सड़क दुर्घटनाओं में होने वाली मौतें और घायल होने वालों का बहुत बड़ा हिस्सा यानी 78 प्रतिशत उस उम्र समूह का है, जो आर्थिक रूप से कमाने वाला वर्ग माना जाता है यानी 15 से 64 साल के बीच के लोग

5. भारत में सड़क दुर्घटनाओं में 15 से 49 साल तक के लोगों में मरने वालों का अनुपात पुरुषों और महिलाओं के बीच 3:1 का है

6. भारत में सड़क दुर्घटनाओं में मौत का सबसे बड़ा कारण ओवर स्पीडिंग यानी सीमा से अधिक तेज गति से वाहन चलाना है, 2022 में 71.2 प्रतिशत मौतों की वजह ओवरस्पीडिंग ही थी

7. हाईवेज पर दुर्घटनाओं में मरने वालों में 68 प्रतिशत हिस्सा पैदल चलने वालों, साइकिल या मोटर साइकिल सवारों की होती है

8. 5 साल से लेकर 29 साल तक के बच्चों व युवाओं की मौत का दुनियां भर में सबसे बड़ा कारण ही सड़क दुर्घटना है 

जागरूकता बढ़ाकर इस तरह के हादसों को कम किया जा सकता है। जैसे:

1. ज़ेब्रा क्रॉसिंग का सही उपयोग करना।

2. सिग्नल पर रुकने और नियम तोड़ने वाले को टोकने का साहस रखना।

3. अपने परिवार और दोस्तों को ओवरस्पीडिंग और हेलमेट न पहनने के खतरों को बताना।

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वरिष्ठ पत्रकार श्यामाकांत दुबे का निधन ?>

लंबे समय से ‘अमर उजाला’ से जुड़े वरिष्ठ पत्रकार श्यामाकांत दुबे का मंगलवार को आकस्मिक निधन हो गया है। वह करीब 60 वर्ष के थे।

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Published - Wednesday, 27 November, 2024
Last Modified:
Wednesday, 27 November, 2024
Shyamakant Dubey

लंबे समय से ‘अमर उजाला’ से जुड़े वरिष्ठ पत्रकार श्यामाकांत दुबे का मंगलवार को आकस्मिक निधन हो गया है। मीडिया में करीब 40 साल से सक्रिय श्यामाकांत दुबे लगभग 60 वर्ष के थे।

दुबे ने अमर उजाला में एसोसिएट एडिटर के पद पर रहते हुए 2022 में सेवानिवृत्ति ली थी। फिलहाल वह एक्सटेंशन के तौर पर इस अखबार में नोएडा में अपनी सेवाएं दे रहे थे। अमर उजाला, नोएडा से पहले उन्होंने  जयपुर, भोपाल, मेरठ और चंडीगढ़ जैसे स्थानों पर लंबे समय तक कार्य किया था।

श्यामाकांत दुबे अपने पीछे पत्नी, बेटा-बेटी और बड़ा परिवार छोड़ गए हैं। उनके निधन से मीडिया जगत में शोक की लहर दौड़ गई है। तमाम पत्रकारों ने श्यामाकांत दुबे के निधन पर शोक जताते हुए अपनी श्रद्धांजलि अर्पित की है और शोक संतप्त परिवार को यह दुख सहन करने की शक्ति देने की ईश्वर से प्रार्थना की है।  

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टाइम्स ड्राइव ग्रीन कॉनक्लेव 2024 दिल्ली में कल, नितिन गडकरी होंगे मुख्य अतिथि ?>

‘Driving the future: Accelerating India’s Electric Mobility Revolution’ की थीम पर होने जा रहे इस कार्यक्रम में 20 से अधिक श्रेणियों के विजेताओं को सम्मानित किया जाएगा।

समाचार4मीडिया ब्यूरो by
Published - Tuesday, 26 November, 2024
Last Modified:
Tuesday, 26 November, 2024
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टाइम्स नेटवर्क डिजिटल 27 नवंबर को नई दिल्ली में टाइम्स ग्रीन कॉनक्लेव एंड अवॉर्ड्स का आयोजन करने जा रहा है। ‘Driving the future: Accelerating India’s Electric Mobility Revolution’ की थीम पर होने जा रहे इस कार्यक्रम में 20 से अधिक श्रेणियों के विजेताओं को सम्मानित किया जाएगा। इसमें ग्रीन मोबिलिटी सॉल्यूशन के ग्लोबल ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चरर्स, एनर्जी प्रोवाइडर्स, टेक इनोवेटर्स और पॉलिसी मेकर्स शामिल होंगे।

सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि होंगे और इलेक्ट्रिक वाहनों के भविष्य और स्केलेबल ग्रीन मोबिलिटी पर बात करेंगे। इसमें भारत में टिकाउ और भविष्य के लिए तैयार ट्रांसपोर्ट ईकोसिस्टम पर चर्चा की जाएगी।

टाइम्स ड्राइव ग्रीन कॉनक्लेव एंड अवॉर्ड्स 2024 में एक्सपर्ट पैनल डिस्कशन की पूरी सीरीज होगी। इसके अंतर्गत नए जमाने के इनोवेशन और फ्यूचर ट्रेंड्स में ईवी से हाइड्रोजन और हाइब्रिड विकल्पों पर फोकस होगा। पॉलिसी और वित्तीय सब्सिडी के तहत रेगुलेटरी और वित्तीय रोडमैप के अलावा मुख्य चुनौतियों और आने वाली संभावनाओं पर भी बात होगी।  टाइम्स ड्राइव ग्रीन कॉनक्लेव एंड अवॉड्स 2024 को टाइम्स नाउ के यूट्यूब चैनल पर 27 नवंबर शाम छह बजे लाइव टेलिकास्ट किया जाएगा।

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बाजार में आई पत्रकार नीरज नैयर की किताब ‘NAYYAR बस दो साल’ ?>

नीरज ने किताब में गिरीश मिश्रा के साथ काम करने के अपने अनुभवों को साझा किया है। साथ ही यह भी बताया है कि मिश्राजी किस तरह दूसरे संपादकों से अलग रहे।

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Published - Tuesday, 26 November, 2024
Last Modified:
Tuesday, 26 November, 2024
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पत्रकार नीरज नैयर ने दिग्गज संपादक गिरीश मिश्रा के साथ काम करने के अपने अनुभवों और उनकी कार्यशैली पर एक किताब लिखी है। इस किताब में नीरज ने आगरा से पुणे वाया भोपाल के अपने सफर को भी बयां किया है। आगरा के रहने वाले नीरज नैयर भोपाल होते हुए पुणे पहुंचे और लोकमत समूह के साथ कई साल काम किया।

फिलहाल वह BW बिजनेस वर्ल्ड समूह की हिंदी वेबसाइट BW हिंदी के साथ जुड़े हुए हैं और उन्होंने भोपाल को अपना ठिकाना बनाया हुआ है। नीरज ने किताब में गिरीश मिश्रा के साथ काम करने के अपने अनुभवों को साझा किया है। साथ ही यह भी बताया है कि मिश्राजी किस तरह दूसरे संपादकों से अलग रहे।

NAYYAR बस 2 साल शीर्षक वाली किताब में लोकमत समूह के संपादक के तौर पर गिरीश मिश्रा के पुणे कार्यकाल का भी जिक्र है। भोपाल के नवभारत से विदाई लेकर मिश्राजी महाराष्ट्र के लोकमत समूह का हिस्सा बने थे। उन्होंने नागपुर के बाद पुणे में लोकमत समाचार की कमान संभाली।

उनके पेशेवर करियर की आखिरी पारी पुणे ही रही, क्योंकि इसके बाद स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के चलते उन्हें सक्रिय पत्रकारिता से दूर होना पड़ा। नीरज नैयर ने यह बताने का भी प्रयास किया है कि पुणे कार्यकाल के दौरान गिरीश मिश्रा अपेक्षाकृत ज्यादा परेशान क्यों नज़र आया करते थे।

इस किताब में बहुत कुछ ऐसा है, जो मिश्राजी के चाहने वालों को निश्चित तौर पर पसंद आएगा। इस किताब को लेखक से संपर्क करके या फ्लिपकार्ट के इस लिंक के जरिए खरीदा जा सकता है।

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टाइम्स ग्रुप व बेनेट यूनिवर्सिटी की पहल, दो हेड कांस्टेबल को मिला Times Now Heroes अवॉर्ड ?>

‘टाइम्स नाउ हीरोज’ (Times Now Heroes) के उद्घाटन संस्करण को बेनेट यूनिवर्सिटी के चांसलर और द टाइम्स ग्रुप के प्रबंध निदेशक विनीत जैन ने लॉन्च किया।

समाचार4मीडिया ब्यूरो by
Published - Monday, 25 November, 2024
Last Modified:
Monday, 25 November, 2024
Times-Hereos

बेनेट यूनिवर्सिटी और द टाइम्स ग्रुप द्वारा संचालित ‘टाइम्स नाउ हीरोज’ (Times Now Heroes) के उद्घाटन संस्करण को बेनेट यूनिवर्सिटी के चांसलर और द टाइम्स ग्रुप के प्रबंध निदेशक विनीत जैन द्वारा आधिकारिक तौर पर लॉन्च किया गया। यह अभियान ऐसे ‘गुमनाम नायकों’ के धैर्य, साहस और मानवता का जश्न मनाने के लिए समर्पित है, जो निस्वार्थ भाव से समाज की सेवा में जुटे रहते हैं और किसी भी तरह की लाइमलाइट से दूर रहते हैं।  

कार्यक्रम के दौरान विनीत जैन ने ऐसे प्लेटफॉर्म तैयार करने में टाइम्स नाउ और बेनेट यूनिवर्सिटी के साझा विजन पर प्रकाश डाला, जो चुपचाप समाज को नया आकार देने वाले गुमनाम योद्धाओं को एक मंच पर लाते हैं और उन्हें सम्मानित करते हैं। उन्होंने कहा, ‘टाइम्स नाउ हीरोज के साथ हमारा मिशन सामान्य लोगों की असाधारण शक्ति को प्रकाश में लाना है जो मानवता, साहस और खास उद्देश्य के साथ नेतृत्व करते हैं। यह पहल प्रभावशाली स्टोरीटैलिंग के सार को दर्शाती है, जहां वास्तविक जीवन के नायक लाखों लोगों को प्रेरित करते हैं और हमारे समाज के ताने-बाने को मजबूत करते हैं।’ उनका कहना था, ’टाइम्स नाउ हीरोज जैसी पहल के साथ साझेदारी करके, हमारा लक्ष्य उन लोगों की आवाज़ को बढ़ाना है जो हमें प्रेरित करते हैं सभी को बेहतर बनना है, बेहतर करना है और बड़े सपने देखना है।’

कार्यक्रम का मुख्य आकर्षण दिल्ली पुलिस की हेड कांस्टेबल सीमा देवी और सुमन हुड्डा रहीं, ये दो असाधारण महिलाएं हैं, जिन्होंने ऑपरेशन मिलाप के प्रति अपनी अद्वितीय प्रतिबद्धता के माध्यम से बहादुरी को फिर से परिभाषित किया है। केवल नौ महीनों की अवधि में, इन्होंने तीन राज्यों में मानव तस्करी के शिकार 104 बच्चों को बचाया और उन्हें उनके परिवारों से मिलाया।

टाइम्स हीरोज अवार्ड मिलने पर सीमा देवी ने अपनी यात्रा को लेकर कहा- ’यह सब करने में, मुझे संतुष्टि महसूस होती है। हम ड्यूटी पर वर्दी नहीं पहनते हैं। जब हमें कोई इस तरह का बच्चा या किशोर मिलता है, तो हम उन्हें एक मां या बहन की तरह समझाने में मदद करते हैं और परिवार से मिलाने में जुट जाते हैं।’ उन्होंने जोर देकर कहा, ’मानव तस्करी को रोकने के लिए पहला कदम उन बच्चों को पैसे देना बंद करना है जो भिखारी के रूप में आते हैं। यदि आप पैसे देना बंद कर देंगे, तो आप सड़कों पर कम बच्चे देखेंगे। एक प्रयास करें।’

सुमन हुड्डा ने कहा, ’मुझे बच्चों को उनके परिवारों से मिलाने में बेहद गर्व और राहत महसूस होता है। हमें बच्चों और परिवारों का पता लगाने के लिए उनके साथ भावनात्मक रूप से जुड़ना होता है। भावनाओं के बिना ऐसा करना असंभव है। बच्चे अपने माता-पिता से कुछ भी सुनने से बचते हैं क्योंकि वे उनसे परेशान होते हैं, लेकिन वे मार्गदर्शक के रूप में हमारी बात सुनते हैं।’

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