ब्रिटिश टेलीविजन के इतिहास में यह पहला मौका है जब किसी कार्यक्रम को AI प्रेजेंटर ने होस्ट किया।
ब्रिटेन के 'चैनल 4' ने इतिहास रच दिया है। इस टीवी चैनल ने पहली बार अपने एक करंट अफेयर्स प्रोग्राम में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) एंकर का इस्तेमाल किया। यह एपिसोड सोमवार को प्रसारित हुआ, जिसमें उभरती तकनीकों के असर पर चर्चा की गई।
बताया जा रहा है कि ब्रिटिश टेलीविजन के इतिहास में यह पहला मौका है जब किसी कार्यक्रम को AI प्रेजेंटर ने होस्ट किया। हालांकि, 'चैनल 4' में न्यूज एंड करंट अफेयर्स की हेड लुइसा कॉम्पटन (Louisa Compton) ने साफ किया कि फिलहाल इसे नियमित तौर पर इस्तेमाल करने की कोई योजना नहीं है।
‘डिस्पैचेज’ शो में दिखा AI एंकर
'चैनल 4' के लंबे समय से चल रहे करंट अफेयर्स शो Dispatches के नए एपिसोड में इस AI प्रेजेंटर का इस्तेमाल किया गया। इस फैसले के पीछे मकसद था यह समझना कि डिजिटल युग में भरोसे और असली जानकारी की अहमियत पर AI का क्या असर पड़ रहा है।
कॉम्पटन ने कहा कि 'चैनल 4' हमेशा प्रीमियम और फैक्ट-चेक्ड जर्नलिज्म पर ध्यान देता है, जो काम AI नहीं कर सकता। उन्होंने यह भी कहा कि यह प्रयोग दिखाता है कि AI तकनीक कितनी ‘डिसरप्टिव’ हो सकती है और कैसे यह बिना जांचे-परखे कंटेंट से दर्शकों को भ्रमित कर सकती है।
विभिन्न इंडस्ट्रीज में AI के असर पर केंद्रित रहा एपिसोड
एपिसोड का नाम था 'Will AI Take My Job?' यानी 'क्या AI मेरी नौकरी ले लेगा?' इसमें लॉ, म्यूजिक, फैशन और मेडिकल जैसे कई इंडस्ट्रीज पर AI के प्रभाव की पड़ताल की गई। कार्यक्रम के आखिर में यह खुलासा किया गया कि शो की एंकर ‘आइशा गबान’ (Aisha Gaban) असल में एक इंसान नहीं, बल्कि पूरी तरह से कंप्यूटर द्वारा बनाई गई AI होस्ट थी।
उन्होंने खुद दर्शकों से कहा, 'आपमें से कुछ ने शायद अंदाजा लगाया होगा कि मैं असल में मौजूद नहीं हूं। मैं इस स्टोरी को कवर करने के लिए कहीं नहीं गई थी। मेरी आवाज और चेहरा, दोनों AI की मदद से तैयार किए गए हैं।'
AI एंकर का इस्तेमाल नया नहीं
शो में यह भी बताया गया कि ब्रिटेन के करीब तीन-चौथाई बॉस अब अपने दफ्तरों में ऐसे कामों के लिए AI टूल्स का इस्तेमाल कर रहे हैं जो पहले इंसान किया करते थे। वैसे टीवी पर AI प्रेजेंटर का इस्तेमाल पहली बार नहीं हुआ है। चीन और भारत जैसे देशों में इसका इस्तेमाल हो रहा है। चीन की सरकारी न्यूज एजेंसी Xinhua ने साल 2018 में एक डिजिटल न्यूज एंकर पेश किया था, जो उनके असली एंकर की AI प्रतिकृति थी और उसी की तरह खबरें पढ़ता था। वहीं भारत में भी कई न्यूज चैनल्स पर इस तरह AI न्यूज एंकर ने खबरें पढ़ी हैं।
इटली के शीर्ष खोजी पत्रकारों में से एक सिगफ्रीडो रानूची (Sigfrido Ranucci) के घर के बाहर गुरुवार देर रात बम धमाका हुआ।
इटली के शीर्ष खोजी पत्रकारों में से एक सिगफ्रीडो रानूची (Sigfrido Ranucci) के घर के बाहर गुरुवार देर रात बम धमाका हुआ। इस धमाके में उनके परिवार की दो कारें क्षतिग्रस्त हो गईं। घटना के बाद पत्रकारों और नेताओं ने रानूची के समर्थन में एकजुटता जताई है।
सिगफ्रीडो रानूची, जो सरकारी चैनल RAI के साप्ताहिक खोजी शो 'Report' के एंकर हैं, लंबे समय से पुलिस सुरक्षा में रह रहे हैं। उन्होंने बताया कि उन्हें और उनके न्यूज रूम को लगातार धमकियां मिलती रहती हैं, जिनमें गोलियां भेजना भी शामिल है।
रानूची ने बताया कि लगभग एक किलो वजनी बम उनके घर के बाहर गेट के पास लगाया गया था। यह इलाका कैंपो अस्कोलानो (Campo Ascolano) है, जो रोम से करीब 30 किलोमीटर दक्षिण में स्थित है। धमाका रात 10:17 बजे हुआ, यानी लगभग 20 मिनट बाद जब वे घर लौटे थे। विस्फोट में उनकी और उनकी बेटी की कार पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई।
रानूची ने कहा, 'सौभाग्य से कोई घायल नहीं हुआ। बस काफी तेज झटका महसूस हुआ।'
इतालवी न्यूज एजेंसी ANSA के मुताबिक, इस मामले में माफिया जैसी कार्यशैली अपनाने के आरोपों के साथ आपराधिक क्षति के मामले की जांच शुरू कर दी गई है।
इस सप्ताह की शुरुआत में पत्रकार संगठन FNSI ने बताया था कि 2025 की पहली छमाही में 81 पत्रकारों को धमकी या हिंसा का सामना करना पड़ा, जिनमें 16 मामलों में शारीरिक हमले शामिल थे। यह संख्या 2024 की इसी अवधि में दर्ज 46 मामलों से कहीं ज्यादा है।
प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी (Giorgia Meloni) ने इस हमले की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि 'यह एक गंभीर धमकी की घटना है। सूचना की स्वतंत्रता और निष्पक्षता हमारे लोकतंत्र की मूल आत्मा है, और हम इसकी रक्षा करते रहेंगे।'
गृह मंत्री माटेयो पियांटेदोसी (Matteo Piantedosi) ने घोषणा की कि रानूची की सुरक्षा बढ़ाई जाएगी और उन्हें एक बख्तरबंद (armoured) कार भी दी जाएगी।
अंतरराष्ट्रीय पत्रकार महासंघ (International Federation of Journalists) ने इस बम हमले को 'बेहद चिंताजनक' बताया, क्योंकि यह माल्टा में भ्रष्टाचार विरोधी पत्रकार डेफनी कारोआना गलीजिया (Daphne Caruana Galizia) की हत्या की बरसी के आसपास हुआ है। संगठन ने कहा, 'हम इस हमले की सख्त निंदा करते हैं। यह मीडिया की स्वतंत्रता पर सीधा हमला है। हम मांग करते हैं कि पूरी जांच कर अपराधियों को सजा दी जाए।'
'Report' कार्यक्रम, जो इटली का सबसे प्रसिद्ध खोजी शो माना जाता है, अक्सर सरकार की नीतियों पर तीखे सवाल उठाता रहा है। शो पर प्रधानमंत्री मेलोनी के कई सहयोगियों — जिनमें वित्त मंत्री जियानकार्लो जियोर्जेटी, उद्योग मंत्री अडोल्फो उर्सो और उनके चीफ ऑफ स्टाफ गैटानो कापुती शामिल हैं, ने पहले मुकदमे भी दायर किए थे।
इस पॉलिसी का उद्देश्य राष्ट्रीय सुरक्षा को बनाए रखना बताया गया है, लेकिन पत्रकारों और मीडिया संगठनों ने इसे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर हमला मानते हुए विरोध जताया है।
अमेरिका के रक्षा मंत्रालय पेंटागन ने हाल ही में पत्रकारों के लिए एक नई मीडिया पॉलिसी लागू की है, जिसके तहत उन्हें बिना अनुमति के कोई भी जानकारी प्रकाशित नहीं करने की शपथ लेनी होगी और पेंटागन में उनकी गतिविधियां सिर्फ कुछ निर्धारित क्षेत्रों तक सीमित रहेंगी, जब तक कि वे किसी अधिकारी के साथ न हों।
इस पॉलिसी का उद्देश्य राष्ट्रीय सुरक्षा को बनाए रखना बताया गया है, लेकिन पत्रकारों और मीडिया संगठनों ने इसे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर हमला मानते हुए विरोध जताया है।
न्यूयॉर्क टाइम्स, एसोसिएटेड प्रेस, रॉयटर्स, सीबीएस न्यूज, फॉक्स न्यूज, और द वॉशिंगटन पोस्ट जैसे प्रमुख मीडिया संगठनों ने इस पॉलिसी पर आपत्ति जताई है। इनका कहना है कि यह पॉलिसी पत्रकारों को बिना अनुमति के कोई भी जानकारी प्रकाशित करने से रोकती है, जिससे स्वतंत्र पत्रकारिता पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा।
पत्रकारों की प्रतिक्रिया
पत्रकारों ने इस पॉलिसी को अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर हमला मानते हुए पेंटागन से अपनी प्रेस पास लौटा दी है और कार्यस्थल छोड़ दिया है। उन्होंने यह भी कहा कि वे अपनी रिपोर्टिंग जारी रखेंगे, लेकिन अब उन्हें पेंटागन के अंदर से रिपोर्टिंग करने की अनुमति नहीं होगी। पत्रकारों का कहना है कि यह पॉलिसी प्रेस स्वतंत्रता और स्वतंत्र पत्रकारिता के लिए खतरा है।
पेंटागन का पक्ष
पेंटागन के प्रवक्ता शॉन पार्नेल ने इस पॉलिसी का बचाव करते हुए कहा कि यह राष्ट्रीय सुरक्षा की रक्षा के लिए आवश्यक है। उन्होंने यह भी कहा कि पत्रकारों को केवल यह स्वीकार करना होगा कि वे पॉलिसी को समझते हैं, न कि उस पर सहमति जतानी होगी।
हालांकि, आलोचकों का कहना है कि यह पॉलिसी पत्रकारों को अपनी स्वतंत्रता से वंचित करती है और सरकार द्वारा नियंत्रित जानकारी के प्रसार को बढ़ावा देती है। इस विरोध के बावजूद, पेंटागन ने कहा था कि मंगलवार शाम 5 बजे तक पत्रकारों को इस पॉलिसी को स्वीकार करना होगा, अन्यथा उन्हें अपने प्रेस बैज लौटाने होंगे और कार्यस्थल छोड़ना होगा। इस अल्टीमेटम के बाद कम से कम 30 प्रमुख मीडिया संगठनों ने इस पॉलिसी को अस्वीकार कर दिया है।
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एयर फोर्स वन पर आयोजित प्रेस सेशन के दौरान Politico की महिला पत्रकार दशा बर्न्स (Dasha Burns) के सवालों का उत्तर नहीं दिया
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एयर फोर्स वन पर आयोजित प्रेस सेशन के दौरान Politico की महिला पत्रकार दशा बर्न्स (Dasha Burns) के सवालों का उत्तर नहीं दिया और उनकी कंपनी को “फेक न्यूज” कहकर खारिज कर दिया।
ट्रंप उस समय तेल अवीव जा रहे थे, ताकि इजरायल और हमास के बीच शांति समझौते के पहले चरण की निगरानी कर सकें। प्रेस सेशन लगभग 25 मिनट तक चला, जिसमें मध्य पूर्व की स्थिति से लेकर संभावित सरकार बंद होने तक के सवाल उठाए गए।
हालांकि, मामला तब बदल गया जब दशा बर्न्स ने चीन पर हाल ही में लगाए गए टैरिफ के बारे में सवाल पूछना शुरू किया। जब उन्होंने 100% टैरिफ के प्रस्ताव के बारे में पूछा, ट्रंप ने हंसते हुए कहा, “वाह, तुम बहुत सवाल पूछती हो। तुम किसके साथ हो?” जब बर्न्स ने खुद को Politico की रिपोर्टर बताया, तो ट्रंप ने जवाब दिया, “Politico खराब हो गया है। उन्होंने हर चीज में गलती की है!” इसके बाद उन्होंने उनके सवाल बंद करवा दिए और कहा, “कृपया कोई और सवाल पूछे, क्योंकि Politico फेक न्यूज है।”
दशा बर्न्स पहले NBC News की राष्ट्रीय संवाददाता रह चुकी हैं और अब Politico की व्हाइट हाउस ब्यूरो चीफ हैं। वे ट्रंप से नए टैरिफ के संभावित आर्थिक प्रभावों पर सवाल कर रही थीं, लेकिन ट्रंप ने इसे चीन के दुर्लभ धातु निर्यात प्रतिबंधों का जवाब बताया और कहा कि यह उनकी पहल नहीं थी।
साथ ही, ट्रंप ने इजरायल में हमास द्वारा बंदी बनाए गए 20 अगवा लोगों के बारे में भी बात की। उन्होंने कहा कि बंदी जल्दी ही रिहा किए जा सकते हैं और उनकी परिस्थितियां काफी कठिन रही हैं। यह रिहाई उस बड़े समझौते का हिस्सा है, जिसमें हमास लगभग 2,000 फिलस्तीनी कैदियों के बदले 20 बंदियों को छोड़ने की योजना बना रहा है।
नेटिजन्स ने ट्रंप की प्रतिक्रिया पर प्रतिक्रिया दी। एक यूजर ने लिखा, “यही वह हमेशा करता है।” एक अन्य ने कहा, “यदि वह सवालों का जवाब नहीं देता, तो जवाब देने की जरूरत नहीं।” कई ने कहा कि केवल तभी फेक न्यूज होती है जब रिपोर्ट उसके मनमाने अनुसार न हो।
इस घटना ने एक बार फिर दिखाया कि ट्रंप प्रेस से सवाल पूछने वाले पत्रकारों के प्रति अक्सर सीधे और विवादास्पद रवैया अपनाते हैं।
जब यह प्लेटफॉर्म अमेरिकी नियंत्रण में आएगा, तो बैरन ट्रम्प को इसमें प्रमुख भूमिका देने पर विचार किया जा रहा है।
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के छोटे बेटे बैरन ट्रम्प को अब TikTok में एक बड़ा पद देने पर विचार किया जा रहा है। रिपोर्ट के अनुसार, जब यह प्लेटफॉर्म अमेरिकी नियंत्रण में आएगा, तो बैरन ट्रम्प को इसमें प्रमुख भूमिका देने पर विचार किया जा रहा है। यह जानकारी राष्ट्रपति के पूर्व सोशल मीडिया मैनेजर Jake Advent ने दी। वैसे बता दें कि बैरन ट्रम्प को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प और युवा मतदाताओं के बीच कनेक्शन बनाने में मदद करने का श्रेय दिया जाता है।
Jake Advent, जिन्हें राष्ट्रपति प्यार से “TikTok Jack” कहते हैं, ने Daily Mail को बताया, “मुझे उम्मीद है कि राष्ट्रपति ट्रम्प अपने बेटे बैरन और अन्य युवा अमेरिकियों को TikTok के बोर्ड में शामिल करेंगे, ताकि यह ऐप युवाओं के लिए आकर्षक बना रहे।”
बैरन ने चुनाव में कैसे की मदद
2024 के अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव के दौरान, बैरन ट्रम्प ने अपने पिता के चुनाव अभियान में पॉडकास्ट सलाहकार के रूप में काम किया। उन्होंने डोनाल्ड ट्रम्प का कैंपेन टीवी से पॉडकास्ट-केंद्रित रणनीति की ओर मोड़ा, जिससे युवा दर्शकों तक उनकी पहुंच बढ़ी।
ट्रम्प के वरिष्ठ सलाहकार Jason Miller ने बैरन की तारीफ करते हुए कहा, “इस युवा की हर सिफारिश ने इंटरनेट पर धमाल मचा दिया। उन्हें सलाम।”
TikTok अब अमेरिकी नियंत्रण में
सितंबर के अंत में, डोनाल्ड ट्रम्प ने एक आदेश पर हस्ताक्षर किए, जिसमें कहा गया कि उनकी योजना TikTok के अमेरिकी संचालन को अमेरिकी और वैश्विक निवेशकों को बेचने की, 2024 के कानून में तय राष्ट्रीय सुरक्षा नियमों के अनुसार होगी। हालांकि अब तक यह एक चीनी कंपनी बाइटडांस के स्वामित्व में थी।
ट्रम्प ने प्लेटफॉर्म पर लौटते हुए घोषणा की, “TikTok के सभी युवाओं, मैंने TikTok को बचाया है, इसलिए आप मेरा आभार व्यक्त कर सकते हैं। अब आप मुझे ओवल ऑफिस में देख रहे हैं और किसी दिन आप में से कोई इसी डेस्क पर बैठने वाला है और आप भी बेहतरीन काम करेंगे।”
अमेरिकी सरकार के आदेश के अनुसार, टिकटॉक का अमेरिकी ऐप अब एक नई अमेरिकी कंपनी द्वारा संचालित होगा। इस कंपनी का अधिकांश हिस्सा और नियंत्रण अमेरिकी लोगों के पास होगा। ओरेकल, सिल्वर लेक और कुछ अन्य अमेरिकी निवेशक इस नई कंपनी में बहुमत हिस्सेदारी रखेंगे। इसमें यह भी कहा गया कि टिकटॉक की चीनी मालिक कंपनी बाइटडांस इस संस्था में 20 प्रतिशत से कम हिस्सेदारी रखेगी। अमेरिका के उपराष्ट्रपति जेडी वेंस ने घोषणा की थी कि टिकटॉक यूएस का मूल्य 14 बिलियन डॉलर होगा।
उन्होंने कहा था कि हम टिकटॉक को अमेरिका में चलाने की अनुमति देना चाहते थे, लेकिन साथ ही यह भी सुनिश्चित करना चाहते थे कि अमेरिकी नागरिकों की डेटा गोपनीयता कानून के अनुसार सुरक्षित रहे। इस समझौते से अमेरिकी लोग टिकटॉक का उपयोग अधिक भरोसे के साथ कर सकेंगे, क्योंकि उनका डेटा सुरक्षित रहेगा और इसे प्रचार के हथियार के रूप में इस्तेमाल नहीं किया जाएगा।
वेंस ने इस बात पर भी जोर दिया था कि टिकटॉक के एल्गोरिदम का नियंत्रण अमेरिकी निवेशकों के पास रहेगा।
अमेरिकी मीडिया कंपनी पैरामाउंट (Paramount) लीनियर टेलीविजन मार्केट से बड़े पैमाने पर पीछे हटने की योजना बना रही है।
अमेरिकी मीडिया कंपनी पैरामाउंट (Paramount) लीनियर टेलीविजन मार्केट से बड़े पैमाने पर पीछे हटने की योजना बना रही है। इसके तहत यूरोप में कई MTV चैनल 2025 के अंत में बंद हो जाएंगे।
बीबीसी की एक रिपोर्ट के अनुसार, ब्रिटेन में MTV Music, MTV 80s, MTV 90s, Club MTV और MTV Live 31 दिसंबर 2025 को ऑफ एयर हो जाएंगे। वहीं, प्रमुख चैनल MTV HD, जो अब मुख्य रूप से रियलिटी और एंटरटेनमेंट फॉर्मेट पर केंद्रित है, उपलब्ध रहेगा। यह फैसला दर्शकों में लीनियर म्यूजिक चैनलों की लंबी अवधि से गिरती लोकप्रियता और दर्शकों के YouTube और TikTok जैसी प्लेटफॉर्म्स की ओर बढ़ते रुझान को दर्शाता है।
इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स का कहना है कि ब्रिटेन में ये बंद होने वाले चैनल पैरामाउंट के अंतरराष्ट्रीय पोर्टफोलियो के व्यापक पुनर्संयोजन का हिस्सा हैं। मध्य और पूर्वी यूरोप के कई मार्केट्स में, जिनमें पोलैंड और हंगरी शामिल हैं, MTV Music, TeenNick, NickMusic, Comedy Central Extra और Paramount Network 2025 के अंत में बंद होने की उम्मीद है। बेनेलक्स क्षेत्र से भी ऐसी ही रिपोर्ट्स सामने आई हैं, जहां MTV 80s, MTV 00s और अन्य थीमेटिक चैनलों के स्थानीय संस्करण भी बंद किए जा रहे हैं।
जिन टीवी प्लेटफॉर्म ऑपरेटर्स ने Broadband TV News को पुष्टि दी, उनके अनुसार MTV की पैरेंट कंपनी जर्मनी और ऑस्ट्रिया में भी MTV ब्रैंडेड चैनलों को बंद करेगी। जर्मनी में एक ऑपरेटर ने अपने B2B ग्राहकों को पहले ही MTV Live HD के साल के अंत में बंद होने की जानकारी दे दी है।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, पैरामाउंट ऑस्ट्रेलिया, फ्रांस और ब्राजील में भी MTV म्यूजिक चैनल बंद करने वाला है। ये बंदी कंपनी की वैश्विक पोर्टफोलियो में 500 मिलियन डॉलर तक की लागत बचाने की योजना का हिस्सा है।
अगस्त में, पैरामाउंट ने Paramount Television Studios को बंद किया गया था, जो Jack Ryan और The Spiderwick Chronicles जैसी सीरीज बनाता था।
वैसे इन सबका असर ब्रिटेन में MTV प्रोडक्शंस पर भी पड़ा है, जहां Gonzo और Fresh Out UK जैसे मूल शो रद्द कर दिए गए।
डेनमार्क की प्रधानमंत्री मेटे फ्रेडरिक्सन ने मंगलवार को संसद (फोकटिंग) के उद्घाटन सत्र के दौरान घोषणा की कि देश में 15 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए सोशल मीडिया पर प्रतिबंध लगाया जाएगा।
डेनमार्क की प्रधानमंत्री मेटे फ्रेडरिक्सन ने मंगलवार को संसद (फोकटिंग) के उद्घाटन सत्र के दौरान घोषणा की कि देश में 15 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए सोशल मीडिया पर प्रतिबंध लगाया जाएगा।
प्रधानमंत्री ने कहा कि मोबाइल फोन और सोशल नेटवर्क “हमारे बच्चों का बचपन चुरा रहे हैं।” अपने भाषण में उन्होंने कहा, “हमने एक राक्षस को आजाद कर दिया है। पहले कभी इतने बच्चों और युवाओं में चिंता और अवसाद के इतने मामले नहीं देखे गए।”
फ्रेडरिक्सन ने कहा कि आज कई बच्चों को पढ़ने और ध्यान लगाने में भी मुश्किल होती है, क्योंकि स्क्रीन पर वे वो चीज़ें देख रहे हैं जो किसी बच्चे या युवा को नहीं देखनी चाहिए।”
हालांकि उन्होंने यह नहीं बताया कि यह नया नियम किन सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर लागू होगा, लेकिन इतना कहा कि यह “कई” सोशल नेटवर्क्स को कवर करेगा। उन्होंने यह भी बताया कि इसमें एक अपवाद (exception) होगा। यानी यदि माता-पिता चाहें, तो वे अपने बच्चे को 13 साल की उम्र से सोशल मीडिया इस्तेमाल करने की अनुमति दे सकते हैं।
सरकार को उम्मीद है कि यह प्रतिबंध अगले साल से लागू हो सकता है।
यह कदम ऑस्ट्रेलिया और नॉर्वे की नीति की तर्ज पर उठाया गया है। ऑस्ट्रेलिया में फेसबुक, स्नैपचैट, टिकटॉक और यूट्यूब जैसे प्लेटफॉर्म्स पर 16 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए बैन लागू किया जा रहा है, जबकि नॉर्वे के प्रधानमंत्री योनास गहर स्टोरे ने भी सोशल मीडिया की न्यूनतम आयु सीमा 13 से बढ़ाकर 15 साल करने का ऐलान किया है।
योनास ने पिछले साल कहा था कि यह “एक कठिन लड़ाई” होगी, लेकिन बच्चों को “एल्गोरिद्म की ताकत” से बचाने के लिए राजनीतिक हस्तक्षेप जरूरी है।
डेनमार्क की डिजिटलाइजेशन मंत्री कैरोलीन स्टेज ने इस घोषणा को “एक बड़ी प्रगति” बताया। उन्होंने कहा, “मैं पहले भी कह चुकी हूं और दोबारा कहूंगी कि हम बहुत भोले रहे हैं। हमने बच्चों की डिजिटल दुनिया उन प्लेटफॉर्म्स के हवाले कर दी जिनका उनके हितों से कोई लेना-देना नहीं था। अब हमें डिजिटल कैद से बाहर निकलकर समुदाय की ओर बढ़ना होगा।”
प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में कुछ चिंताजनक आंकड़े भी साझा किए। उन्होंने बताया कि 11 से 19 साल के 60% लड़के अपने खाली समय में किसी दोस्त से नहीं मिलते, जबकि 94% डेनिश बच्चे सातवीं कक्षा तक पहुंचने से पहले ही सोशल मीडिया पर प्रोफाइल बना लेते हैं।
उन्होंने दोहराया, “मोबाइल फोन और सोशल मीडिया हमारे बच्चों का बचपन चुरा रहे हैं।”
यह घोषणा उस फैसले के बाद आई है, जिसमें डेनमार्क ने फरवरी में सभी स्कूलों और आफ्टर-स्कूल क्लबों में मोबाइल फोन पर प्रतिबंध लगाने की बात कही थी। यह फैसला सरकार की वेलबीइंग कमीशन की सिफारिश पर लिया गया था, जिसने यह निष्कर्ष निकाला कि 13 साल से कम उम्र के बच्चों के पास अपना मोबाइल फोन या टैबलेट नहीं होना चाहिए।
बच्चों और युवाओं पर सोशल मीडिया के प्रभाव को लेकर किए जा रहे कई अंतरराष्ट्रीय शोधों ने दुनियाभर की सरकारों को इस मुद्दे पर गंभीरता से विचार करने के लिए मजबूर किया है।
इसी साल जून में ग्रीस ने यूरोपीय संघ से यह प्रस्ताव रखा था कि एक “डिजिटल वयस्कता की आयु सीमा (age of digital adulthood)” तय की जाए, ताकि माता-पिता की अनुमति के बिना बच्चे सोशल मीडिया तक पहुंच न सकें।
CNN ने घोषणा की है कि रेचल ताशजियान (Rachel Tashjian) नेटवर्क में सीनियर स्टाइल रिपोर्टर के तौर पर शामिल हो गई हैं।
CNN ने घोषणा की है कि रेचल ताशजियान (Rachel Tashjian) नेटवर्क में सीनियर स्टाइल रिपोर्टर के तौर पर शामिल हो गई हैं। अपने नए पद पर रेचल मल्टी-प्लेटफॉर्म रिपोर्टिंग और विश्लेषण करेंगी, जिसमें रोजमर्रा की फैशन पसंद से लेकर हाई फैशन तक को कवर किया जाएगा।
वह इस बात पर रिपोर्ट करेंगी कि कैसे सांस्कृतिक बदलाव हमारी दिखने की शैली को प्रभावित करते हैं। CNN के प्लेटफॉर्म्स पर अब वह वही तीखी और गहराई भरी फैशन आलोचना पेश करेंगी, जिसके लिए वह पहले से जानी जाती हैं।
रेचल, CNN स्टाइल की ग्लोबल एडिटर फियोना सिंक्लेयर स्कॉट (Fiona Sinclair Scott) को रिपोर्ट करेंगी, जो फीचर्स एडिटोरियल टीम का हिस्सा हैं, जिसका नेतृत्व Choire Sicha कर रहे हैं।
CNN से जुड़ने से पहले रेचल The Washington Post के स्टाइल सेक्शन में फैशन क्रिटिक थीं, जहां उन्होंने वीडियो, प्रिंट, डिजिटल और न्यूजलेटर के जरिए आम लोगों से लेकर खास हस्तियों के फैशन को कवर किया।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, रेचल को “आज के सबसे दिलचस्प और प्रभावशाली फैशन आलोचकों में से एक” बताया गया है, जिनका नाम अखबार जगत की दिग्गजों जैसे रॉबिन गिव्हान, वेनेसा फ्रीडमैन और कैथी होरिन के साथ लिया जाता है।
वह Opulent Tips नामक एक “इनविटेशन-ओनली” न्यूजलेटर की संस्थापक भी हैं, जिसे फैशन जगत में एक कल्ट फॉलोइंग प्राप्त है। यह न्यूजलेटर शॉपिंग और पर्सनल स्टाइल से जुड़ी सलाह प्रदान करता है।
2023 में रेचल ASME अवॉर्ड्स के लिए नामांकित हुई थीं। 2024 में उन्हें Society for Features Journalism के Excellence-In-Features Awards में Arts & Culture Criticism Portfolio श्रेणी में फर्स्ट प्लेस विजेता घोषित किया गया। इसी के साथ 2023 में उनका नाम Business of Fashion 500 सूची में भी शामिल किया गया था।
रेचल पहले Harper’s Bazaar में फैशन न्यूज डायरेक्टर रहीं, जहां उन्होंने शीर्ष डिजाइनर्स जैसे मिउच्चिया प्रादा (Miuccia Prada), मारिया ग्राजिया क्यूरि (Maria Grazia Chiuri - Dior) और निकोलस घेसक्येरे (Nicolas Ghesquière - Louis Vuitton) के प्रोफाइल इंटरव्यू किए।
इससे पहले वे GQ की पहली फैशन क्रिटिक थीं, जहां उन्होंने स्ट्रीटवियर के विकास और बाइडेन परिवार, ट्रंप प्रशासन और ब्रिटिश शाही परिवार के फैशन कूटनीति पर लिखा।
रेचल ने यूनिवर्सिटी ऑफ पेनसिल्वेनिया से इंग्लिश और आर्ट हिस्ट्री में स्नातक की डिग्री हासिल की है। वह अब CNN के न्यूयॉर्क ब्यूरो से काम करेंगी।
स्पोर्ट्स मीडिया जगत में इन दिनों ESPN के लोकप्रिय कमेंटेटर पॉल फाइनबाम (Paul Finebaum) को लेकर विवाद छिड़ा हुआ है।
स्पोर्ट्स मीडिया जगत में इन दिनों ESPN के लोकप्रिय कमेंटेटर पॉल फाइनबाम (Paul Finebaum) को लेकर विवाद छिड़ा हुआ है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, Disney और ESPN ने उन्हें कुछ शो से ऑफ-एयर कर दिया है, क्योंकि उन्होंने अलाबामा से अमेरिकी सीनेट चुनाव लड़ने की संभावना पर टिप्पणी की थी। हालांकि, ESPN ने इन दावों को सिरे से खारिज कर दिया है।
यह विवाद तब शुरू हुआ जब पॉल ने क्ले ट्रैविस के शो OutKick में गेस्ट के तौर पर हिस्सा लिया। इंटरव्यू के दौरान उन्होंने बताया कि पॉलिटिकल कमेंटेटर चार्ली किर्क की हत्या ने उन्हें राजनीति में आने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहा कि वे अलाबामा से रिपब्लिकन सीनेट सीट के लिए चुनाव लड़ने पर गंभीरता से विचार कर रहे थे। उनका यह बयान तेजी से वायरल हो गया।
इसके बाद, क्ले ट्रैविस ने दावा किया कि पॉल को ESPN के कई बड़े शो- जैसे SportsCenter, Get Up और First Take से हटा दिया गया है। ट्रैविस ने अपने X (Twitter) पोस्ट में लिखा कि Disney ने पॉल को उनके राजनीतिक बयानों के चलते टीवी पर आने से रोकने के लिए “ऑल-स्टॉप ऑर्डर” जारी किया है।
हालांकि, ESPN ने इन आरोपों को तुरंत खारिज किया। नेटवर्क के कार्यकारी अधिकारी बिल हॉफहाइमर ने इन रिपोर्ट्स को “पूरी तरह झूठा” बताया और स्पष्ट किया कि पॉल को किसी राजनीतिक कारण से शो से नहीं हटाया गया है।
This is not true at all. The below is TOTALLY FALSE. https://t.co/nmnBA9mj13
— bill hofheimer (@bhofheimer_espn) October 6, 2025
पॉल हाल के दिनों में ESPN के कुछ प्रमुख प्रोग्राम्स में नजर नहीं आए हैं, लेकिन वे अब भी SEC नेटवर्क (जो ESPN के स्वामित्व में है) पर The Paul Finebaum Show की मेजबानी कर रहे हैं। इस वजह से यह स्पष्ट नहीं है कि Disney ने वास्तव में उन्हें पूरी तरह बेंच किया है या नहीं।
यह मामला इस व्यापक बहस को भी उजागर करता है कि मीडिया कंपनियां उन शख्सियतों से कैसे निपटती हैं जो राजनीतिक महत्वाकांक्षाएं रखते हैं। ESPN पिछले कई वर्षों से राजनीतिक विवादों से दूरी बनाए रखने की कोशिश करता आया है, खासकर तब से, जब उस पर “बहुत ज्यादा राजनीतिक होने” के आरोप लगे थे, जैसा कि Marca की एक रिपोर्ट में कहा गया है।
CBS News की पैरेंट कंपनी 'पैरामाउंट स्काइडांस' (Paramount Skydance) ने The Free Press का अधिग्रहरण कर लिया है।
CBS News की पैरेंट कंपनी 'पैरामाउंट स्काइडांस' (Paramount Skydance) ने The Free Press का अधिग्रहरण कर लिया है। यह डिजिटल मीडिया प्लेटफॉर्म पूर्व न्यूयॉर्क टाइम्स की लेखक और संपादक Bari Weiss ने शुरू किया था।
इस डील के तहत, Bari Weiss को अब प्रतिष्ठित अमेरिकी न्यूज नेटवर्क CBS News की एडिटर-इन-चीफ भी नियुक्त किया गया है। 41 वर्षीय Bari Weiss को टीवी ब्रॉडकास्ट का अनुभव नहीं है, लेकिन उन्होंने अपनी अलग तरह की राय और मीडिया संचालन के लिए नाम कमाया है। इसके अलावा, वह The Free Press की CEO व एडिटर-इन-चीफ की जिम्मेदारी भी जारी रखेंगी।
दिलचस्प बात यह है कि Weiss सीधे Paramount Skydance के चेयरमैन व CEO David Ellison को रिपोर्ट करेंगी, न कि CBS News के प्रेजिडेंट Tom Cibrowski या Paramount TV मीडिया चेयर George Cheeks को।
Ellison ने स्टाफ को लिखा, “यह हमारे लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। Bari सीधे मुझे रिपोर्ट करेंगी, The Free Press का नेतृत्व करेंगी और CBS News टीम के साथ मिलकर इसे सबसे भरोसेमंद न्यूज प्लेटफॉर्म बनाएंगी।
हम मानते हैं कि देश के लोग संतुलित और तथ्य-आधारित खबर चाहते हैं, और हम चाहते हैं कि CBS उनका घर बने।”
Paramount Skydance ने कहा कि Weiss Cibrowski के साथ भी काम करेंगी। कंपनी के अनुसार, यह साझेदारी दर्शाती है कि CBS News का भविष्य एक गतिशील और मल्टीप्लेटफॉर्म न्यूजरूम के रूप में होना चाहिए, जिसमें टीवी, स्ट्रीमिंग, डिजिटल, ऑडियो, सोशल मीडिया और इवेंट्स सभी शामिल हों।
डील की वित्तीय जानकारी सार्वजनिक नहीं की गई है, लेकिन मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार इसका मूल्य लगभग $150 मिलियन है।
Weiss ने कहा कि नए मालिकों के तहत भी The Free Press स्वतंत्र रहेगा। उन्होंने कहा, “हम इस समुदाय में बड़ा निवेश करेंगे और कई चीजें जो हम लंबे समय से सपना देख रहे थे, अब जल्दी संभव होंगी।”
Weiss अपने लिबरल संस्थानों और "कैंसल कल्चर" पर आलोचनाओं के लिए जानी जाती हैं। उन्होंने 2021 में The Free Press अपनी पार्टनर Nellie Bowles के साथ शुरू किया, जब उन्होंने न्यूयॉर्क टाइम्स छोड़ दिया था। Weiss का कहना था कि उनके कंजर्वेटिव विचारों और लेफ्ट की आलोचना के कारण उन्हें वहां अधिक ध्यान से देखा गया।
सोमवार को Weiss ने Free Press में लिखा, “आज से मैं CBS News की एडिटर-इन-चीफ हूं, उन प्रोग्राम्स पर काम कर रही हूं जिन्होंने पीढ़ियों तक अमेरिकी संस्कृति को प्रभावित किया है- जैसे 60 Minutes और Sunday Morning और यह तय कर रही हूं कि लाखों अमेरिकियों 21वीं सदी में खबरें कैसे पढ़ें, सुनें, देखें और समझें।”
यह अधिग्रहण 97 साल पुराने CBS News में बड़े बदलाव के बीच हुआ है, जो इस गर्मी में Paramount Global और Skydance Media के बीच हुए विलय के बाद आया। Skydance Media की स्थापना David Ellison ने की थी, जो अरबपति Larry Ellison के बेटे हैं। Paramount के पास Paramount Pictures, MTV, Comedy Central और Nickelodeon जैसे यूएस केबल चैनल्स भी हैं।
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने रूस के दक्षिणी शहर सोची के ब्लैक सी रिसॉर्ट के वल्दाई फोरम में बोलते हुए भारतीय सिनेमा के प्रति अपने प्रेम को व्यक्त किया।
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने रूस के दक्षिणी शहर सोची के ब्लैक सी रिसॉर्ट के वल्दाई फोरम में बोलते हुए भारतीय सिनेमा के प्रति अपने प्रेम को व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि रूस में आज भी भारतीय फिल्मों में गहरी रुचि बनी हुई है।
इस दौरान पुतिन ने कहा, “हमें भारतीय सिनेमा पसंद है। वास्तव में, रूस शायद एकमात्र ऐसा देश है जहां भारतीय फिल्मों के लिए एक अलग टीवी चैनल है।”
रूसी राष्ट्रपति ने यह भी कहा कि भारत और रूस के बीच संबंध केवल राजनीति तक सीमित नहीं हैं, बल्कि इसमें सांस्कृतिक और मानवीय रिश्ते भी शामिल हैं। उन्होंने यह भी जोड़ा कि कई भारतीय छात्र शिक्षा के लिए रूस जाते हैं और उनका देश न केवल लोगों बल्कि उनकी संस्कृति का भी स्वागत करता है।
यह पहला मौका नहीं है जब पुतिन ने भारतीय सिनेमा की प्रशंसा की है। पहले भी उन्होंने अक्सर बॉलीवुड फिल्मों और उनकी रूस में लोकप्रियता के बारे में बात की है। पिछले साल अक्टूबर में, पुतिन ने स्वीकार किया था कि भारत की फिल्में रूस में किसी अन्य BRICS देश के मनोरंजन की तुलना में अधिक लोकप्रिय हैं।
जब उनसे पूछा गया कि क्या रूस BRICS देशों को अपने देश में फिल्म बनाने के लिए प्रोत्साहन देगा, तो पुतिन ने भारत के विशाल सांस्कृतिक प्रभाव के बारे में बात की। उन्होंने कहा, “यदि हम BRICS सदस्य देशों को देखें, तो मुझे लगता है कि रूस में भारतीय फिल्में सबसे अधिक लोकप्रिय हैं। हमारे पास एक विशेष टीवी चैनल है, जहां भारतीय फिल्में चौबीसों घंटे दिखाई जाती हैं। हमें भारतीय फिल्मों में काफी रुचि है,”
गौरतलब है कि रूस में भारतीय फिल्मों की लोकप्रियता कोई नई बात नहीं है। यह सोवियत काल से चली आ रही है, जब बॉलीवुड फिल्में वहां बहुत प्रसिद्ध थीं। खासकर हिंदी फिल्म स्टार्स जैसे राज कपूर और मिथुन चक्रवर्ती पूरे रूस में बहुत लोकप्रिय हो गए थे। यानी, रूस में भारतीय सिनेमा की सराहना पुरानी और गहरी है।
पुतिन का भारत दौरा
कुछ दिनों पहले खबरें आईं कि रूसी राष्ट्रपति इस साल दिसंबर में भारत का दौरा करेंगे और पुतिन ने नई दिल्ली की अपनी यात्रा की पुष्टि की। एक मीडिया बातचीत के दौरान, पुतिन ने कहा कि वे इस यात्रा का इंतजार कर रहे हैं और अपने "प्रिय मित्र" प्रधानमंत्री मोदी से मिलने के लिए उत्साहित हैं।